महाराष्ट्र सरकार वकीलों को लोकल ट्रेनों में सफर की अनुमति देने के बारे में बताए : बंबई उच्च न्यायालय

By भाषा | Updated: June 24, 2021 19:48 IST2021-06-24T19:48:15+5:302021-06-24T19:48:15+5:30

Tell Maharashtra government to allow lawyers to travel in local trains: Bombay High Court | महाराष्ट्र सरकार वकीलों को लोकल ट्रेनों में सफर की अनुमति देने के बारे में बताए : बंबई उच्च न्यायालय

महाराष्ट्र सरकार वकीलों को लोकल ट्रेनों में सफर की अनुमति देने के बारे में बताए : बंबई उच्च न्यायालय

मुंबई, 24 जून बंबई उच्च न्यायालय ने बृहस्पतिवार को महाराष्ट्र सरकार से पूछा कि क्या कोविड-19 की वजह से सार्वजनिक वाहनों में यात्रा पर लगी पाबंदियों के बीच वकीलों को यहां की लोकल ट्रेनों में सफर की अनुमति दी जा सकती है।

मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति जीएस कुलकर्णी की पीठ ने राज्य सरकार से यह सवाल महाराष्ट्र और गोवा बार काउंसिल की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए किया। याचिका में वकीलों को अदालत और कार्यालय जाने के लिए लोकल ट्रेनों और मेट्रो रेल में सफर करने की अनुमति देने का अनुरोध किया गया है।

पीठ ने कहा कि चूंकि कि इस समय वकीलों को लोकल ट्रेनों (उपनगरीय रेल सेवा) में सफर की अनुमति नहीं दी गई है, इसलिए वे कार्यालय या अदालत में सुनवाई के लिए पहुंच नहीं पा रहे हैं। इसकी वजह से अदालतों में भी लंबित मामलों की संख्या बढ़ रही है।

इस समय बंबई उच्च न्यायालय और अधिकतर अधीनस्थ अदालतें अति आवश्यक मामलों की सुनवाई वीडियो कांफ्रेंस के जरिये कर रही हैं। कुछ मामलों में हालांकि, वकीलों को व्यक्तिगत रूप से अदालत में उपस्थित होने की अनुमति दी गई है और ऐसी सुनवाई साथ-साथ वीडियो कांफ्रेंस से भी होती है।

पीठ ने आगे कहा कि उच्च न्यायालय की समिति उच्च न्यायालय और अधीनस्थ अदालों में आमने-सामने की सुनवाई बहाल करने पर फैसले के लिए एक जुलाई को बैठक करने वाली है। अत: एक जुलाई तक समिति को बताया जाए कि वकीलों को लोकल ट्रेनों में यात्रा करने की अनुमति दी जाएगी या नहीं।

उच्च न्यायालय ने कहा, ‘‘लंबित मामलों की संख्या बढ़ती जा रही है। अगर वकील अदालत आएं तो हम कुछ मामलों की सुनवाई कर सकते हैं। अन्यथा एक साल बाद इतने मामले लंबित हो जाएंगे कि 100 न्यायाधीशों की नियुक्ति भी पर्याप्त नहीं होगी।’’

पीठ ने कहा, ‘‘जब हम सुबह आते हैं तो कई रेलगाड़ियों का परिचालन होते हुए देखते हैं, क्यों नहीं राज्य वकीलों को इन रेलगाड़ियों में यात्रा करने की अनुमति देने पर विचार करता?’’ अदालत अधिवक्ता चिराग चन्नानी द्वारा दायर इस जनहित याचिका पर अब तीन जुलाई को सुनवाई करेगी।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Web Title: Tell Maharashtra government to allow lawyers to travel in local trains: Bombay High Court

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे