मुख्तार एंबुलेंस प्रकरण की जांच करेगी एसआईटी

By भाषा | Updated: April 4, 2021 16:59 IST2021-04-04T16:59:24+5:302021-04-04T16:59:24+5:30

SIT will investigate Mukhtar ambulance case | मुख्तार एंबुलेंस प्रकरण की जांच करेगी एसआईटी

मुख्तार एंबुलेंस प्रकरण की जांच करेगी एसआईटी

बलिया/बाराबंकी (उत्तर प्रदेश), चार अप्रैल बहुजन समाज पार्टी के बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी द्वारा इस्तेमाल की गई एंबुलेंस के पंजीकरण में फर्जी कागजात के इस्तेमाल की पुष्टि के बाद मामले की जांच के लिए विशेष अनुसंधान दल (एसआईटी) का गठन किया गया है और पुलिस टीमें मऊ तथा पंजाब भेजी गई हैं।

मुख्तार के भाई और गाजीपुर से बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के सांसद अफजाल अंसारी ने मुख्तार का एंबुलेंस प्रकरण से कोई वास्ता नहीं होने का दावा किया है।

बाराबंकी के पुलिस अधीक्षक यमुना प्रसाद ने बताया कि मऊ से बसपा विधायक मुख्तार अंसारी द्वारा पंजाब में इस्तेमाल की जा रही एंबुलेंस के प्रकरण में जांच के लिए अपर पुलिस अधीक्षक (उत्तरी) के नेतृत्व में एक एसआईटी गठित की गई है।

उन्होंने बताया कि एसआईटी के तहत दो दल गठित किए गए हैं। एक हैदरगढ़ के पुलिस क्षेत्राधिकारी नवीन कुमार के नेतृत्व में पंजाब और दूसरी इंस्पेक्टर महेंद्र सिंह के नेतृत्व में मऊ भेजा गया है। दोलों दल सभी पहलुओं पर जांच करेंगे। वे इस मामले में आरोपों के घेरे में आई डॉक्टर अलका राय से भी बात करेंगे। एम्बुलेंस किसके आदेश से जेल से मुख्तार अंसारी को ले गई और अंसारी का बाराबंकी से क्या रिश्ता है, उसका भी पता लगाया जाएगा।

इस बीच, बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी के बड़े भाई बसपा सांसद अफजाल अंसारी ने कहा है कि एम्बुलेंस से उनके भाई का कोई लेना देना नहीं है। उन्होंने कहा कि मुख्तार के उत्तर प्रदेश की जेल में आने पर उसकी सुरक्षा की जिम्मेदारी न्यायिक व्यवस्था और राज्य की योगी आदित्यनाथ सरकार की है।

अफजाल ने 'भाषा' से बातचीत में कहा, ‘‘एम्बुलेंस प्रकरण से मुख्तार का कोई लेना देना नहीं है। एम्बुलेंस मुख्तार की विधायक निधि से खरीदे जाने की बात बिल्कुल गलत है। अगर ऐसा है तो सरकारी अभिलेखों से इसकी जांच की जा सकती है।’’

मुख्तार को पंजाब से उत्तर प्रदेश लाने से जुड़े सवाल पर उन्होंने कहा कि उच्चतम न्यायालय के आदेश के क्रम में यह कार्रवाई हो रही है। अदालत को मुख्तार अंसारी के जीवन की रक्षा और मेडिकल सुविधा की निगरानी करनी चाहिए।

अफजाल ने कहा, ‘‘किसी भी नागरिक के जीवन की सुरक्षा सरकार का फर्ज है। यह फर्ज दोगुना हो जाता है, जब वह कैदी न्यायिक अभिरक्षा में हो और चार गुना तब हो जाता है, जब राज्य सरकार याचिका दाखिल कर न्यायालय से गुजारिश करे कि मुकदमे की सुनवाई प्रभावित हो रही है।’’

मालूम हो कि पंजाब की रोपड़ जेल में बंद माफिया मुख्तार अंसारी को मोहाली की अदालत में पेश करने के लिए जिस एंबुलेंस का प्रयोग किया गया था वह बाराबंकी जनपद में पंजीकृत है। यह एंबुलेंस रफी नगर निवासी डॉक्टर अलका राय के नाम पंजीकृत मिली थी। शासन की सख्ती के बाद संभागीय परिवहन विभाग ने अलका के पंजीकरण की फाइल खंगाली तो पाया गया कि डॉक्टर अलका राय ने बाराबंकी के रफी नगर निवासी होने का वोटर आईडी लगाकर पंजीकरण कराया था।

इस पर परिवहन कार्यालय ने तहसील प्रशासन से जांच कराई तो वोटर आईडी फर्जी मिली। इस पर एआरटीओ पंकज सिंह ने शुक्रवार को शहर कोतवाली में मऊ जिले के भीटी इलाके की मूल निवासी अलका राय के खिलाफ मामला दर्ज कराया था।

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Web Title: SIT will investigate Mukhtar ambulance case

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