पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI अब भारत-नेपाल सीमावर्ती इलाकों में आतंकी संगठन को मजबूत करने में जुटी, हाई अलर्ट हुआ जारी
By एस पी सिन्हा | Updated: October 16, 2019 05:50 IST2019-10-16T05:50:20+5:302019-10-16T05:50:20+5:30
आईएसआई के द्वारा वाराणसी को बेस बनाने की बात भी सामने आ रही है. खबर है कि मदनी वाराणसी के एक मुसाफिरखाने में कई लोगों से मिला था. उसके साथ नेपाली मूल का एक अन्य आतंकी भी था.

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पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी 'आईएसआई' अब भारत-नेपाल सीमावर्ती इलाकों में आतंकी संगठन 'लश्कर-ए-तैयबा' के मॉड्यूल को मजबूत बनाने में लगा है. आईएसआई ने इसकी जिम्मेदारी लश्कर के नेपाल स्थित स्लीपर सेल के कमांडर उमर समस उर्फ उमर मदनी को सौंपी है. खुफिया रिपोर्ट की मानें तो मदनी बिहार व यूपी में लश्कर के नेटवर्क का विस्तार कर रहा है. ऐसे में नेपाल के रास्ते आतंकियों के बिहार की सीमा में प्रवेश करने की सूचना पर गृह मंत्रालय ने बिहार समेत आसपास के राज्यों को अलर्ट किया है.
सूत्रों की अगर मानें तो आईएसआई के द्वारा वाराणसी को बेस बनाने की बात भी सामने आ रही है. खबर है कि मदनी वाराणसी के एक मुसाफिरखाने में कई लोगों से मिला था. उसके साथ नेपाली मूल का एक अन्य आतंकी भी था. इसी कड़ी में बिहार के सीमांचल, पूर्वी बिहार और कोसी इलाके के जिले को विशेष रुप से सतर्क किया गया है.
गृह मंत्रालय के निर्देश के आलोक में बिहार एटीएस के आईजी ने जिला और रेल एसपी को पत्र लिखकर चौकसी बरतने का निर्देश दिया है. सूत्रों के मुताबिक केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने उच्चाधिकारियों को पत्र लिखकर कहा है कि आतंकवादी विस्फोट और तोड़फोड़ की तैयारी में हैं.
कुछ खास लोगों द्वारा आतंकियों को सुविधा और संरक्षण प्रदान किया जा रहा है. ऐसे लोगों की पहचान कर कार्रवाई का निर्देश दिया गया है. आतंकियों को किराये के मकान या होटलों में ठहराया जा रहा है. यहीं नहीं स्थानीय स्तर पर विस्फोटक पदार्थ भी उपलब्ध कराया जा रहा है.
अवैध हथियार तस्करों से साठगांठ से इंकार नहीं किया जा सकता है. आतंकवादी किसी भीड़भाड़ वाले इलाके को निशाना बना सकते हैं. जिलों के एसपी को सुरक्षा की जांचकर आतंकियों को संरक्षण देने वालों का पता लगाकर कार्रवाई का निर्देश दिया गया है.
सूत्रों के अनुसार पूर्वी बिहार, कोसी और सीमांचल में आए दिन संदिग्ध गतिविधियों की सूचनाएं मिलती रहती है. इन इलाकों पर एटीएस एवं एनआईए की टीम विशेष नजर रख रही है.
सूत्रों की अगर मानें तो मौलाना उमर मदनी को लेकर बड़ा खुलासा यह है कि वह नेपाल में रहकर आईएसआई की मदद से आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के नेटवर्क को मजबूत कर रहा है. इस क्षेत्र से उसे सारी सूचनाएं भी भेजी जा रही हैं. हाल में नेपाल में कई आतंकियों के छिपे होने की सूचना के बाद से खुफिया विभाग भी अलर्ट है, लेकिन मदनी की जानकारी के बावजूद उसे पकड़ने में असमर्थ बना हुआ है.
मदनी नेपाल में मौलाना के रूप में दो मदरसों का संचालन करता है. सूत्रों की मानें तो मदनी नेपाल में 'नेपाल एजुकेशनल एंड वेलफेयर सोसाइटी' के माध्यम से भारत विरोधी गतिविधियों का संचालन कर रहा है. वह बिहार के सीमावर्ती इलाकों के अलावे नेपाल में तराई इलाके में मुस्लिम युवाओं को आतंकी संगठन से जोड़ने में लगा है. इसके लिए उसने नेपाल के कपिलवस्तु में ठिकाना बनाया है.
मदनी ऐसे युवाओं को आतंकी ट्रेनिंग के लिए पाकिस्तान भेजने की कोशिश में लगा है. इसकी खुफिया जानकारी के बाद नेपाल सीमा पर सुरक्षा बल अलर्ट मोड़ में आ गये हैं. वहीं, गृह विभाग के निर्देश के आलोक में चौकसी बढ़ा दी गई है. अधिकारी के मुताबिक आईबी और खुफिया एजेंसी को अलर्ट किया गया है. केन्द्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश के आलोक में जिले को अलर्ट किया गया है. होटलों की जांच और संदिग्ध किरायेदारों पर नजर रखने का निर्देश दिया गया है.