औरंगाबाद (महाराष्ट्र), 26 जुलाई पश्चिमी महाराष्ट्र और कोंकण के कुछ हिस्सों में जहां भारी बारिश के कारण बाढ़ का सामना करना पड़ रहा है, वहीं मराठवाड़ा क्षेत्र के विभिन्न बांधों का जल स्तर पिछले साल की तुलना में कम हो गया है। सिंचाई विभाग ने यह जानकारी दी है।
इस क्षेत्र के 45 बड़े जलाशयों की कुल जल संग्रहण क्षमता 4,505.36 मिलियन क्यूबिक मीटर (एमसीएम) है। सिंचाई विभाग की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि सोमवार को उनमें संग्रहित पानी 1,991.22 एमसीएम या 44.2 प्रतिशत था, जो 26 जुलाई 2020 को 47.01 प्रतिशत था। मराठवाड़ा क्षेत्र में मध्यम स्तर के 81 जलाशयों में सोमवार को 247.84 एमसीएम पानी था, जबकि उनकी कुल भंडारण क्षमता 1,056.42 एमसीएम थी। रिपोर्ट में कहा गया है कि उनका भंडारण पिछले साल के 30.19 प्रतिशत की तुलना में अब तक 23.46 प्रतिशत है। इसके अलावा, 838 छोटे जलाशयों में कुल भंडारण क्षमता 1,810.49 एमसीएम की तुलना में 212.15 एमसीएम पानी है। जलाशय पिछले वर्ष के 13.03 प्रतिशत के मुकाबले कुल भंडारण क्षमता का 11.72 प्रतिशत तक भरे हुए हैं।
रिपोर्ट में कहा गया है कि सोमवार तक जयकवाड़ी बांध कुल भंडारण क्षमता का 35.82 प्रतिशत, मजलगांव-31.7 प्रतिशत, येलदारी-69.57 प्रतिशत तक भर गया और ये आंकड़े पिछले साल की तुलना में कम हैं। सीना कोलेगांव बांध (उस्मानाबाद) में जल संग्रह नहीं हो पाया है। हालांकि, निचला दूधना बांध कुल क्षमता का 82.79 प्रतिशत, निचला टेरना-56.6 प्रतिशत, निचला मनार-89.3 प्रतिशत, सिद्धेश्वर-76.9 प्रतिशत तक भर गया और ये आंकड़े पिछले साल की तुलना में अधिक हैं।
रिपोर्ट में कहा गया है कि लातूर शहर को पानी की आपूर्ति करने वाले मंजारा बांध अपनी क्षमता का 22.36 प्रतिशत तक भर गया, जबकि पिछले साल इस दिन इसका भंडारण शून्य था।
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