साजिद पतलेवालेयवतमाल जिले के दिग्रस निर्वाचन क्षेत्र में भाजपा से बगावत कर निर्दलीय के रूप में चुनावी मैदान में उतरे संजय देशमुख शिवसेना के उम्मीदवार संजय राठोड़ को टक्कर दे सकते हैं. देशमुख अपने कार्यकर्ताओं की फौज लेकर जहां प्रचार में लगे हुए हैं, वहीं शिवसेना उम्मीदवार संजय राठोड़ भी अपने विपक्षियों को टक्कर देने के लिए हरसंभव प्रयास में जुटे हैं.
इनके साथ ही राकांपा के उम्मीदवार तारिक लोखंडवाला भी दोनों संजय को टक्कर देने के लिए मतदाताओं तक पहुंचने का प्रयास कर रहे हैं. वंचित आघाड़ी भी प्रचार में कोई कसर नहीं छोड़ रही. इस चुनावी माहौल को देखकर तय माना जा रहा है कि दिग्रस में मुकाबला रोमांचक होगा.
दिग्रस, दारव्हा, नेर निर्वाचन क्षेत्र में इस वर्ष कुल 3 लाख 22785 मतदाता अपने अधिकार का उपयोग करेंगे. कुल 10 उम्मीदवार मैदान में हैं. उनकी राजनीतिक किस्मत का फैसला 21 अक्तूबर को मतदाता करेंगे.
भावना गवली प्रचार से दूर ही
यवतमाल जिले में शिवसेना को एकमात्र दिग्रस की सीट मिली है. यहां से शिवसेना की ओर से संजय राठोड़ चुनावी मैदान में हैं. सभी दलों के नेताओं ने अपनी पार्टी के उम्मीदवार के प्रचार के लिए कमर कस ली है. हालांकि शिवसेना सांसद अपनी ही पार्टी के उम्मीदवार राठोड़ के चुनाव प्रचार से दूर है. इससे शिवसेना कार्यकर्ता असमंजस में हैं. सांसद गवली अब तक एक बार भी राठोड़ के प्रचार में शामिल नहीं हुईं।