लाइव न्यूज़ :

लोकपाल को 2020-21 में भ्रष्टाचार की 110 शिकायतें मिलीं, इनमें से चार सांसदों के खिलाफ

By भाषा | Updated: June 7, 2021 15:21 IST

Open in App

(अश्विनी श्रीवास्तव)

नयी दिल्ली, सात जून भ्रष्टाचार रोधी निकाय लोकपाल को साल 2020-21 के दौरान कुल 110 शिकायतें मिलीं। इनमें से चार मामले सांसदों से जुड़े थे। आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक 2019-20 में जितनी शिकायतें मिलीं, उससे अगले वर्ष 92 प्रतिशत कम शिकायतें आयीं।

लोकपाल को 2019-20 में भ्रष्टाचार की 1427 शिकायतें मिली थीं। पिछले वित्त वर्ष में मिली कुल शिकायतों में से 57 केंद्र सरकार के समूह ‘ए’ या समूह ‘बी’ के अधिकारियों के खिलाफ, 44 शिकायतें केंद्र के पूर्ण या आंशिक नियंत्रण वाले विभिन्न बोर्ड, निगम, स्वायत्त निकाय के अध्यक्षों, सदस्यों और कर्मचारियों के खिलाफ और पांच अन्य श्रेणी की शिकायतें थीं।

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 23 मार्च 2019 को न्यायमूर्ति पिनाकी चंद्र घोष को लोकपाल के अध्यक्ष पद की शपथ दिलायी थी। लोकपाल के पास प्रधानमंत्री समेत सरकारी कर्मचारियों-अधिकारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच करने का अधिकार है। लोकपाल के आठ सदस्यों को उसी साल 27 मार्च को न्यायमूर्ति घोष ने पद की शपथ दिलायी थी। इन आठ सदस्यों में चार न्यायिक और बाकी गैर न्यायिक सदस्य होते हैं। वर्तमान में लोकपाल में दो न्यायिक सदस्यों के पद रिक्त हैं।

आंकड़ों के मुताबिक, लोकपाल ने 30 शिकायतों की आरंभिक जांच की और आरंभिक जांच के बाद 75 शिकायतें बंद कर दी गयीं। वर्ष 2020-21 में आरंभिक जांच रिपोर्ट पर गौर करने के बाद कुल 13 शिकायतें बंद कर दी गयीं। लोकपाल के आंकड़े में कहा गया है कि समूह ‘ए’ और ‘बी’ के अधिकारियों के खिलाफ भेजी गयी 14 शिकायतें मुख्य सतर्कता आयुक्त (सीवीसी) और तीन शिकायतें केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) के पास लंबित हैं। एक मामले में कार्रवाई रिपोर्ट दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) के पास लंबित है।

आंकड़ों के मुताबिक, लोकपाल को 2019-20 के दौरान मिली 1427 शिकायतों में 613 राज्य सरकार के अधिकारियों और चार केंद्रीय मंत्रियों और सांसदों के खिलाफ थी। केंद्र सरकार के अधिकारियों के खिलाफ 245, केंद्र के सार्वजनिक उपक्रम, वैधानिक निकायों, न्यायिक संस्थानों और स्वायत्त निकायों के खिलाफ 200 और किसी व्यक्ति या संगठन के खिलाफ 135 शिकायतें मिलीं। छह शिकायतें राज्य के मंत्रियों और विधानसभा सदस्यों के खिलाफ और चार शिकायतें केंद्रीय मंत्रियों के खिलाफ थीं। कुल शिकायतों में 220 अनुरोध, टिप्पणी या सुझाव थे।

आंकड़ों में कहा गया कि 613 शिकायतें राज्य सरकार के अधिकारियों, राज्य स्तर के सार्वजनिक उपक्रम, वैधानिक निकायों, न्यायिक संस्थानों और स्वायत्त निकायों के खिलाफ थीं। आंकड़ों के मुताबिक, कुल शिकायतों में 1347 का निपटारा कर दिया गया जबकि 1152 शिकायतें लोकपाल के दायरे के बाहर की थीं।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Open in App

संबंधित खबरें

क्रिकेटसबसे आगे विराट कोहली, 20 बार प्लेयर ऑफ़ द सीरीज पुरस्कार, देखिए लिस्ट में किसे पीछे छोड़ा

ज़रा हटकेShocking Video: तंदूरी रोटी बनाते समय थूक रहा था अहमद, वीडियो वायरल होने पर अरेस्ट

क्राइम अलर्ट4 महिला सहित 9 अरेस्ट, घर में सेक्स रैकेट, 24400 की नकदी, आपतिजनक सामग्री ओर तीन मोटर साइकिल बरामद

क्रिकेटYashasvi Jaiswal maiden century: टेस्ट, टी20 और वनडे में शतक लगाने वाले छठे भारतीय, 111 गेंद में 100 रन

क्रिकेटVIRAT KOHLI IND vs SA 3rd ODI: 3 मैच, 258 गेंद, 305 रन, 12 छक्के और 24 चौके, रांची, रायपुर और विशाखापत्तनम में किंग विराट कोहली का बल्ला

भारत अधिक खबरें

भारतकथावाचक इंद्रेश उपाध्याय और शिप्रा जयपुर में बने जीवनसाथी, देखें वीडियो

भारत2024 में महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव, 2025 तक नेता प्रतिपक्ष नियुक्त नहीं?, उद्धव ठाकरे ने कहा-प्रचंड बहुमत होने के बावजूद क्यों डर रही है सरकार?

भारतजीवन रक्षक प्रणाली पर ‘इंडिया’ गठबंधन?, उमर अब्दुल्ला बोले-‘आईसीयू’ में जाने का खतरा, भाजपा की 24 घंटे चलने वाली चुनावी मशीन से मुकाबला करने में फेल

भारतजमीनी कार्यकर्ताओं को सम्मानित, सीएम नीतीश कुमार ने सदस्यता अभियान की शुरुआत की

भारतसिरसा जिलाः गांवों और शहरों में पर्याप्त एवं सुरक्षित पेयजल, जानिए खासियत