दैनिक भास्कर, भारत समाचार चैनल के परिसरों पर आयकर विभाग की छापेमारी

By भाषा | Updated: July 22, 2021 19:53 IST2021-07-22T19:53:38+5:302021-07-22T19:53:38+5:30

Income Tax Department raids the premises of Dainik Bhaskar, Bharat News Channel | दैनिक भास्कर, भारत समाचार चैनल के परिसरों पर आयकर विभाग की छापेमारी

दैनिक भास्कर, भारत समाचार चैनल के परिसरों पर आयकर विभाग की छापेमारी

नयी दिल्ली, 22 जुलाई आयकर विभाग ने कर चोरी के आरोपों में दो प्रमुख मीडिया समूहों ‘दैनिक भास्कर’ और उत्तर प्रदेश के हिंदी समाचार चैनल ‘भारत समाचार’ के विभिन्न शहरों में स्थित परिसरों पर बृहस्पतिवार को छापे मारे। विपक्षी दलों ने इस कार्रवाई पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की है।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि दैनिक भास्कर के मामले में भोपाल, जयपुर, अहमदाबाद और नोएडा समेत 30 स्थानों पर छापेमारी की गयी। छापेमारी सुबह साढ़े पांच बजे शुरू हुई और शाम तक जारी रही। दैनिक भास्कर समूह की मौजूदगी 12 राज्यों में हैं और यह हिंदी, गुजराती तथा मराठी में समाचार-पत्रों का प्रकाशन करता है। यह सात राज्यों में 30 रेडियो केंद्रों का भी संचालन करता है और छह वेब पोर्टल तथा चार मोबाइल फोन ऐप के साथ इसकी ऑनलाइन उपस्थिति भी है।

पहचान जाहिर नहीं करने का अनुरोध करते हुए एक अधिकारी ने कहा, ‘‘समूह कपड़ा और खनन व्यवसायों में भी शामिल है और विभाग इनके लेन-देन को भी देख रहा है।’’

दैनिक भास्कर और भारत समाचार के प्रवर्तकों और कर्मचारियों को निशाना बनाकर की गयी छापेमारी के संबंध में आयकर विभाग या उसके नीति निर्माण निकाय केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने आधिकारिक तौर पर कोई टिप्पणी नहीं की है।

राज्यसभा में भी यह मुद्दा उठा। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सहित कई नेताओं ने इस कार्रवाई की निंदा की।

आयकर के छापों को लेकर विपक्षी दलों के आरोपों के बीच सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा कि एजेंसियां अपना काम करती हैं और ‘‘इनमें हमारा कोई हस्तक्षेप नहीं होता।’’ सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने इस बारे में संवाददाताओं के सवालों पर कहा, ‘‘एजेंसियां अपना काम करती हैं और उन पर हमारा कोई हस्तक्षेप नहीं होता है।’’

दोनों मीडिया संगठन देश में कोविड-19 प्रबंधन की आलोचना करते रहे थे और अप्रैल-मई में देश को बुरी तरह प्रभावित करने वाली वैश्विक महामारी की दूसरी लहर के दौरान इस विषय पर कई खबरें प्रकाशित / प्रसारित की थीं।

तलाशी का ब्योरा देते हुए सूत्रों ने बताया कि लखनऊ में भारत समाचार और उसके प्रवर्तकों और कर्मचारियों के परिसरों पर छापेमारी की गई। ‘भारत समाचार’ टीवी ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर कहा कि ‘‘उसके प्रधान संपादक ब्रजेश मिश्रा, प्रदेश प्रमुख वीरेंद्र सिंह और कुछ कर्मचारियों के घरों तथा चैनल के कार्यालय’’ में छापेमारी की जा रही है।

आयकर विभाग के अधिकारियों ने उत्तर प्रदेश के हरैया विधानसभा सीट से भाजपा विधायक अजय सिंह और उनके सहयोगियों से जुड़े कुछ परिसरों पर भी छापे मारे। हालांकि, यह तत्काल साफ नहीं हो सका है कि विधायक और मीडिया समूहों के खिलाफ की गई कार्रवाई में कोई संबंध है या नहीं।

भोपाल में, केंद्रीय अर्धसैनिक बल- केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवानों और मध्य प्रदेश पुलिस के कर्मियों को भोपाल में आयकर टीमों को सुरक्षा देते देखा गया।

दैनिक भास्कर समूह की मूल कंपनी ‘डी बी कॉर्प लिमिटेड’ की वेबसाइट पर उपलब्ध सूचना के मुताबिक समूह की मौजूदगी 12 राज्यों में हैं और यह हिंदी, गुजराती तथा मराठी में समाचार-पत्रों के 65 संस्करण एवं 211 उप संस्करण प्रकाशित करती है। यह सात राज्यों में 30 रेडियो केंद्रों का भी संचालन करती है और छह वेब पोर्टल तथा चार मोबाइल फोन ऐप के साथ इसकी ऑनलाइन उपस्थिति भी है।

दैनिक भास्कर ने अपनी वेबसाइट पर एक संदेश लिखा है, ‘‘मैं स्वतंत्र हूं क्योंकि मैं भास्कर हूं। भास्कर में चलेगी पाठकों की मर्जी। सच्ची पत्रकारिता से डरी सरकार। हमारी पत्रकारिता से क्यों डर रही है सरकार।’’ समूह ने कहा कि दफ्तर में मौजूद कर्मचारियों के मोबाइल फोन जब्त कर लिए गए और उन्हें बाहर नहीं जाने दिया गया। अखबार ने कहा कि गंगा में बहाए गए शव, कोरोना से हुई मौतों की सही संख्या को लेकर सरकार डर गयी।

अखबार ने कहा, ‘‘छापेमारी कर रहे अधिकारियों ने कहा कि यह प्रक्रिया का हिस्सा है और उन्हें पंचनामे की कार्यवाही पूरी होने के बाद छोड़ा जाएगा।’’ साथ ही कहा कि रात्रि पाली में काम करने वाली डिजिटल टीम को साढ़े 12 बजे के बाद छोड़ा गया।

दैनिक भास्कर ने कहा कि रात्रि पाली में काम कर रही डिजिटल टीम को साढ़े बारह बजे दोपहर में छोड़ा गया। साथ ही कहा कि आयकर टीम में कोई महिला सदस्य नहीं थी जब उसने भोपाल और अहमदाबाद डिजिटल शाखा के उसके कार्यालयों पर छापे मारे जहां महिला कर्मचारी मौजूद थीं। अखबार ने कहा कि टीम के वरिष्ठ आयकर अधिकारियों ने इन छापों के पीछे के कारण अब तक स्पष्ट नहीं किए हैं।

कांग्रेस नेता एवं मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने ट्विटर पर कहा कि आयकर विभाग के अधिकारी समूह के करीब छह परिसरों पर ‘‘मौजूद हैं।’’ उनमें राज्य की राजधानी भोपाल में प्रेस कॉम्प्लेक्स में स्थित समूह का कार्यालय भी शामिल है।

सिंह ने राज्यसभा में भी यह मामला उठाया। दैनिक भास्कर समूह पर छापेमारी और पेगासस स्पाईवेयर के जरिए कथित जासूसी को लेकर विपक्षी सदस्यों द्वारा मुद्दा उठाए जाने पर राज्यसभा की कार्यवाही दो बार स्थगित की गयी।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने छापेमारी की कार्रवाई को लोकतंत्र को कुचलने का ‘‘क्रूर प्रयास’’ और सच सामने लाने वाली आवाजों को दबाने की कोशिश करार दिया। बनर्जी ने कहा कि ये छापेमारी देश में कोविड-19 स्थिति के ‘‘कुप्रबंधन’’ के बारे में खबरें देने का नतीजा है।

उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘पत्रकारों और मीडिया संगठनों पर हमला लोकतंत्र को कुचलने की एक और क्रूर कोशिश है। दैनिक भास्कर ने बहादुरी से बताया कि कैसे नरेंद्र मोदी जी ने पूरे कोविड संकट को गलत तरीके से संभाला और वैश्विक महामारी के प्रकोप के बीच देश को उसके सबसे भयानक दिनों की तरफ ले गए।’’ तृणमूल कांग्रेस सुप्रीमो ने कहा, “मैं इस प्रतिशोधी कार्रवाई की कड़ी निंदा करती हूं जिसका मकसद सच सामने लाने वाली आवाजों को दबाना है। यह घोर उल्लंघन है जो लोकतंत्र के सिद्धांतों को कमजोर करता है। मीडिया में काम कर रहे हर व्यक्ति से मजबूत बने रहने की अपील करती हूं। साथ मिलकर हमें इन तानाशाह ताकतों को कामयाब नहीं होने देना है।’’

छापेमारी पर प्रतिक्रिया करते हुए, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि ये ‘‘मीडिया को डराने के प्रयास’’ हैं। उन्होंने एक ट्वीट में कहा, ‘‘उनका संदेश साफ है कि जो कोई भी भाजपा सरकार के खिलाफ बोलेगा, उसे बख्शा नहीं जाएगा। ऐसी सोच बहुत खतरनाक है। हर किसी को इसके खिलाफ आवाज उठानी चाहिए।’’

केजरीवाल ने कहा, ‘‘ये छापेमारी फौरन रुकनी चाहिए और मीडिया को स्वतंत्र रूप से काम करने देना चाहिए।’’

कांग्रेस नेता एवं राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि ‘‘दैनिक भास्कर समाचार-पत्र और भारत समाचार चैनल पर छापेमारी मीडिया की आवाज को दबाने की खुली कोशिश है।’’ उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘मोदी सरकार अपनी जरा भी आलोचना बर्दाश्त नहीं कर सकती। अपनी फासीवादी मानसिकता के चलते, भाजपा लोकतांत्रिक ढांचे में सच्चाई को देखना नहीं चाहती है।’’

मध्य प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष कमलनाथ ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा कर चोरी के आरोप में दैनिक भास्कर और भारत समाचार मीडिया समूहों पर छापेमारी ‘‘लोकतंत्र के चौथे स्तंभ’’ को दबाने और सच बाहर आने से रोकने का प्रयास है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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