सरकार ने 56 ‘सी-295’ सैन्य परिवहन विमानों की खरीद के लिए एयरबस के साथ किया अनुबंध
By भाषा | Updated: September 24, 2021 14:23 IST2021-09-24T14:23:52+5:302021-09-24T14:23:52+5:30

सरकार ने 56 ‘सी-295’ सैन्य परिवहन विमानों की खरीद के लिए एयरबस के साथ किया अनुबंध
नयी दिल्ली, 24 सितंबर रक्षा मंत्रालय ने 56 ‘सी-295’ मध्यम परिवहन विमानों की खरीद के लिए स्पेन की एयरबस डिफेंस एंड स्पेस के साथ करीब 20,000 करोड़ रुपये के अनुबंध पर शुक्रवार को हस्ताक्षर किए। ये विमान भारतीय वायु सेना के एवरो-748 विमानों का स्थान लेंगे।
अधिकारियों ने बताया कि यह अपनी तरह की पहली परियोजना है जिसमें एक निजी कंपनी द्वारा भारत में सैन्य विमान का निर्माण किया जाएगा।
इस सौदे के तहत अनुबंध पर हस्ताक्षर के 48 महीनों के भीतर एयरबस डिफेंस एंड स्पेस उड़ान में सक्षम 16 विमान सौंपेगी। शेष 40 विमानों का निर्माण भारत में किया जाएगा। एयरबस डिफेंस एंड स्पेस और टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड (टीएएसएल) के संघ द्वारा अनुबंध पर हस्ताक्षर के 10 वर्षों के भीतर इनका निर्माण किया जाएगा। टाटा ट्रस्ट्स के चेयरमैन रतन टाटा ने अनुबंध पर हस्ताक्षर होने पर एयरबस डिफेंस, टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड और रक्षा मंत्रालय को बधाई दी।
ट्विटर पर पोस्ट किए एक हस्ताक्षरित बयान में उन्होंने कहा कि विमान के निर्माण के लिए एयरबस डिफेंस और टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स के बीच संयुक्त परियोजना को मंजूरी मिलना भारत में उड्डयन और वैमानिकी परियोजनाओं की शुरुआत करने की दिशा में एक ‘‘बड़ा कदम’’ है।
टाटा ने कहा, ‘‘इससे अंतरराष्ट्रीय मापदंडों के अनुसार एक घरेलू आपूर्ति श्रृंखला की क्षमता पैदा होगी जो पहले कभी नहीं हुई। टाटा समूह देश के रक्षा ढांचे को मजबूत करने में मेक-इन-इंडिया के सहयोग से भारत में आधुनिक विमान के निर्माण के इस साहसी कदम के लिए एयरबस और भारतीय रक्षा मंत्रालय को बधाई देता है।’’
प्रधानमंत्री के नेतृत्व वाली, सुरक्षा मामलों पर मंत्रिमंडल की एक समिति ने दो हफ्ते पहले लंबे समय से अटके इस सौदे को मंजूरी दी थी।
रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ए भारत भूषण बाबू ने ट्वीट किया, ‘‘भारतीय वायु सेना के लिए 56 ‘सी-295’ परिवहन विमान खरीदने के वास्ते रक्षा मंत्रालय और स्पेन की एयरबस डिफेंस एंड स्पेस के बीच अनुबंध हुआ है।’’
‘सी-295’ एमडब्ल्यू विमान 5-10 टन क्षमता का एक परिवहन विमान है।
मंत्रालय ने मंत्रिमंडल समिति द्वारा इस खरीद को मंजूरी दिए जाने के बाद आठ सितंबर को कहा था, ‘‘सभी 56 विमानों को स्वदेश निर्मित इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रणाली से लैस किया जाएगा।’’
करीब नौ साल पहले एवरो के स्थान पर नए विमान लाने को सैद्धांतिक मंजूरी दी गयी थी।
मंत्रालय ने बताया था कि विमानों की आपूर्ति पूरी होने से पहले भारत में सी-295 एमडब्ल्यू विमानों के लिए एक मरम्मत केंद्र बनाया जाना है।
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