गौहाटी उच्च न्यायालय ने राष्ट्रीय उद्यान के अंदर खुदाई करने के लिए आईओएल को दी गई मंजूरी पर रोक लगाई

By भाषा | Updated: December 7, 2020 22:19 IST2020-12-07T22:19:40+5:302020-12-07T22:19:40+5:30

Gauhati High Court stays the approval given to the IOL to dig inside the National Park | गौहाटी उच्च न्यायालय ने राष्ट्रीय उद्यान के अंदर खुदाई करने के लिए आईओएल को दी गई मंजूरी पर रोक लगाई

गौहाटी उच्च न्यायालय ने राष्ट्रीय उद्यान के अंदर खुदाई करने के लिए आईओएल को दी गई मंजूरी पर रोक लगाई

गुवाहाटी, सात दिसंबर गौहाटी उच्च न्यायालय ने डिब्रू-सैखोवा राष्ट्रीय उद्यान के अंदर सात कुएं खोदने के लिए ऑयल इंडिया लिमिटिड (ओआईएल) को दी गई केंद्र की मंजूरी पर रोक लगा दी है। यह राष्ट्रीय उद्यान तिनसुकिया जिले में बागजान कुएं के करीब है जिसमें इस साल मई में आग लग गई थी।

मुख्य न्यायाधीश (कार्यवाहक) एन कोटीश्वर सिंह और न्यायमूर्ति मनीष चौधरी की खंडपीठ ने स्थगन आदेश जारी किया और वकील एम खटनीयर और पर्वतरोही अमर ज्योति डेका की ओर से संयुक्त रूप से दायर जनहित याचिका का निपटान कर दिया।

केंद्र सरकार ने प्रारूप पर्यावरण प्रभाव मूल्यांकन अधिसूचना 2020 के तहत जन सुनवाई जैसे मौजूदा नियमों में संशोधन करके वन के अंदर ओआईएल को कुएं खोदने की इजाजत दी थी, जिसके खिलाफ जनहित याचिका दायर की गई। यह वन जैव विविधता में काफी समृद्ध है।

याचिका में दलील दी गई थी कि पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने 16 जनवरी 2020 को जन सुनवाई से संबंधित मौजूदा नियमों में बदलाव किया था।

याचिकाकर्ता देबजीत कुमार दास ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि वकीलों को सुनने के बाद, गौहाटी उच्च न्यायालय की खंडपीठ ने इस साल 11 मई को दी गई पर्यावरणीय मंजूरी पर रोक लगा दी, क्योंकि इसमें सात सितंबर 2017 के उच्चतम न्यायालय के आदेश का पालन नहीं किया गया था।

उच्चतम न्यायालय के आदेश के तहत ओआईएल को जैव विविधता प्रभाव मूल्यांकन अध्ययन करना जरूरी था।

एक अन्य वकील राखी एस चौधारी ने बताया कि खंडपीठ पहली नजर में इस बात से संतुष्ट थी कि ओआईएल मूल्यांकन अध्ययन करने में विफल रही। उसने डिब्रू-सैखोवा राष्ट्रीय उद्यान में सात हाइड्रोकार्बन परियोजनाओं की खोज और खुदाई पर रोक लगा दी।

इस मामले में भारत सरकार, भारत सरकार के सचिव, असम सरकार, प्रधान सचिव, प्रधान वन संरक्षक और वन बल के प्रमुख और प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्यजीव) समेत 14 प्रतिवादी थे।

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Web Title: Gauhati High Court stays the approval given to the IOL to dig inside the National Park

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