किसानों ने हरियाणा में केएमपी एक्सप्रेस-वे पर जाम लगाया

By भाषा | Updated: March 6, 2021 15:48 IST2021-03-06T15:48:34+5:302021-03-06T15:48:34+5:30

Farmers jammed the KMP Expressway in Haryana | किसानों ने हरियाणा में केएमपी एक्सप्रेस-वे पर जाम लगाया

किसानों ने हरियाणा में केएमपी एक्सप्रेस-वे पर जाम लगाया

चंडीगढ़, छह मार्च केन्द्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों ने दिल्ली की सीमा पर अपने आंदोलन के 100 दिन पूरे होने पर शनिवार को हरियाणा में छह लेन वाले कुंडली-मानेसर-पलवल एक्सप्रेस-वे पर कुछ स्थानों पर यातायात अवरुद्ध कर दिया।

किसानों का प्रदर्शन सुबह 11 बजे शुरू हुआ, जो अपराह्न चार बजे तक चलेगा। संयुक्त किसान मोर्चा ने एक्सप्रेस-वे पर यातायात बाधित करने का आह्वान किया था। कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) एक्सप्रेस-वे 136 किलोमीटर लंबा है।

मानेसर-पलवल खंड 53 किलोमीटर लंबा है और इसका उद्घाटन 2016 में केन्द्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने किया था, वहीं 83 किलोमीटर लंबे कुंडली-मानेसर खंड का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 2018 में किया था।

भारतीय किसान यूनियन (दाकुंडा) के महासचिव जगमोहन सिंह ने कहा, ‘‘ हम केएमपी एक्सप्रेस-वे पर यातायात अवरुद्ध करेंगे लेकिन आपात सेवा में लगे वाहनों को जाने दिया जाएगा।’’

हरियाणा के सोनीपत जिले के किसानों ने अपने ट्रैक्टरों को केएमपी एक्सप्रेस-वे पर एक स्थान पर बीचो-बीच खड़ा कर जाम लगा दिया।

प्रदर्शनकारियों में महिलाएं भी शामिल थीं और उनके हाथों में उनकी यूनियन के झंडे थे और उन्होंने काले रंग के झंडे भी लिए हुए थे। प्रदर्शनकारियों ने उनकी मांगों को नहीं मानने के विरोध में केन्द्र की भाजपा नीत सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।

सोनीपत में एक प्रदर्शनकारी ने कहा, ‘‘ तीनों कृषि कानूनों को वापस लिये जाने तक हमारा आंदोलन जारी रहेगा। हम पीछे नहीं हटेंगे।’’

किसानों ने पलवल जिले में भी प्रदर्शन किया।

केएमपी एक्सप्रेस-वे दिल्ली की हमेशा व्यस्त रहने वाली सड़कों पर भीड़ को कम करने खास तौर पर राष्ट्रीय राजधानी में आने वालों ट्रकों की संख्या को कम करने के लिए बनाया गया था। इससे प्रदूषण कम करने में भी मदद मिली ।

गौरतलब है कि हजारों की संख्या में किसान केन्द्र के तीन नए कृषि कानूनों के विरोध में पिछले वर्ष नवंबर से दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं। किसान कानून वापस लेने की मांग पर अड़े हुए हैं।

प्रदर्शन कर रहे किसानों की आशंका है कि ये कानून न्यूनतम समर्थन मूल्य की व्यवस्था को समाप्त कर देंगे और उन्हें बड़े कॉर्पोरेट घरानों के ‘रहमोकरम’ पर छोड़ देंगे।

हालांकि, सरकार का कहना है कि नए कानून किसानों के लिए बेहतर अवसर लाएंगे और इससे कृषि के क्षेत्र में नयी प्रौद्योगिकी भी आएगी।

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Web Title: Farmers jammed the KMP Expressway in Haryana

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