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डीसीडब्ल्यू ने कोविड-19 से विधवा हो गयीं 791 महिलाओं की पहचान की, पुनर्वास के लिए सौंपी सूची

By भाषा | Updated: July 26, 2021 16:17 IST

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नयी दिल्ली, 26 जुलाई दिल्ली महिला आयोग (डीसीडब्ल्यू) ने कोविड-19 महामारी के कारण विधवा हो चुकी 791 महिलाओं की पहचान की है और उनका पुनर्वास सुनिश्चित करने के लिए दिल्ली सरकार को एक रिपोर्ट सौंपी है।

आयोग ने पुनर्वास प्रक्रिया में सरकार की मदद करने के लिए इन सभी महिलाओं का सामाजिक सर्वेक्षण भी किया है। डीसीडब्ल्यू द्वारा अपने महिला पंचायत नेटवर्क के जरिए जमीनी स्तर पर सर्वेक्षण किया गया।

दिल्ली सरकार ने ‘‘मुख्यमंत्री कोविड-19 परिवार आर्थिक सहायता योजना’’ शुरू की है, जिसके तहत उन लोगों को 50,000 रुपये की अनुग्रह राशि प्रदान की जाएगी, जिन्होंने कोरोना वायरस के कारण परिवार के किसी सदस्य को खो दिया। अगर व्यक्ति परिवार का अकेला कमाने वाला था तो इस योजना के तहत प्रति माह 2,500 रुपये अतिरिक्त पेंशन का भी प्रावधान किया गया है।

डीसीडब्ल्यू द्वारा किए गए सामाजिक सर्वेक्षण से चिन्हित महिलाओं की इस योजना तक पहुंच बढ़ेगी। आयोग अब भी महिलाओं की पहचान कर रहा है, जो कोविड-19 महामारी के दौरान विधवा हो गई थीं और सरकार को अतिरिक्त सूची सौंपेगी। सर्वेक्षण रिपोर्ट के मुताबिक 774 (791 महिलाओं में से 97.85 फीसदी) को कम से कम एक बच्चा है जबकि 360 महिलाओं के तीन से पांच बच्चे हैं। इसके अलावा 30 महिलाओं के पांच से अधिक बच्चे हैं। चिन्हित 791 महिलाओं की सूची में से 734 यानी 92.79 प्रतिशत महिलाएं 18-60 वर्ष की आयु वर्ग में हैं, जबकि शेष वरिष्ठ नागरिक हैं। करीब 191 महिलाएं 18-35 आयु वर्ग में आती हैं।

रिपोर्ट के मुताबिक, 791 महिलाओं में से 721 गृहिणियां हैं, जबकि बाकी घरेलू कामगार, मजदूर, छोटे व्यवसाय की मालिक और निजी और सरकारी कर्मचारियों के रूप में काम करती हैं। करीब 28.57 प्रतिशत महिलाओं के पास आय का कोई स्रोत नहीं है, जबकि लगभग 60 प्रतिशत महिलाओं की मासिक आय 15,000 रुपये से कम है। यह भी पाया गया कि सर्वेक्षण की तारीख तक 597 महिलाओं का टीकाकरण नहीं किया गया था।

डीसीडब्ल्यू प्रमुख स्वाति मालीवाल ने कहा, ‘‘हमने अपनी महिला पंचायत टीम को घर-घर जाकर उन महिलाओं की पहचान करने के लिए कहा, जो विधवा हो गईं और ऐसी 791 महिलाओं की पहचान की गयी। हम सरकार को एक विस्तृत सामाजिक सर्वेक्षण रिपोर्ट भेज रहे हैं ताकि इन महिलाओं को योजना का लाभ मिल सके। साथ ही, इन महिलाओं का प्राथमिकता के आधार पर टीकाकरण किया जाना चाहिए।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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