वायरस के बदलते स्वरूप, सुस्त टीकाकरण और लापरवाही के कारण तेजी से बढ़े कोविड-19 के मामले: वैज्ञानिक

By भाषा | Updated: April 10, 2021 19:10 IST2021-04-10T19:10:59+5:302021-04-10T19:10:59+5:30

Covid-19 cases increased rapidly due to changing forms of virus, sluggish vaccination and negligence: Scientists | वायरस के बदलते स्वरूप, सुस्त टीकाकरण और लापरवाही के कारण तेजी से बढ़े कोविड-19 के मामले: वैज्ञानिक

वायरस के बदलते स्वरूप, सुस्त टीकाकरण और लापरवाही के कारण तेजी से बढ़े कोविड-19 के मामले: वैज्ञानिक

(शकूर राठेर)

नयी दिल्ली, 10 अप्रैल भारत में कोविड-19 के मामलों में बेहद तेज बढ़ोतरी क्यों हो रही है, इसका कोई सीधा जवाब नहीं है। हालांकि, शीर्ष वैज्ञानिकों का कहना है कि कोरोना वायरस के बदलते स्वरूप, चुनाव एवं अन्य सार्वजनिक कार्यक्रमों के चलते बड़ी आबादी का संक्रमण के खतरे की जद में आना और सावधानी बरतने में लापरवाही मामलों में तेज वृद्धि के लिए खासतौर पर जिम्मेदार है।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि संक्रमण के 1,45,384 नए मामले सामने आने के बाद देश में अब तक संक्रमण की चपेट में आए लोगों की संख्या बढ़कर 1,32,05,926 तक पहुंच गई।

इस बीच, कुछ लोगों का कहना है कि यह संक्रमण की दूसरी लहर है जोकि पहली लहर के मुकाबले अधिक तेजी से बढ़ रही है।

विषाणु वैज्ञानिक शाहिद जमील और टी जैकब जॉन का मानना है कि कोविड-19 संबंधी प्रोटोकॉल का पालन नहीं करना और सुस्त टीकाकरण अभियान तेजी से बढ़ते मामलों के लिए प्रमुख रूप से जिम्मेदार है। साथ ही लोगों को यह बताया जाना भी बेहद जरूरी है कि टीकाकरण के बावजूद उन्हें कोविड-19 बचाव संबंधी नियमों का सख्ती से पालन करना चाहिए।

जमील का कहना है कि अगले कुछ महीनों में वायरस के स्वरूप और टीके की परस्पर क्रिया भारत और विश्व में कोविड का भविष्य तय करेगी।

हरियाणा में अशोका विश्वविद्यालय के त्रिवेदी जीव विज्ञान संस्थान के निदेशक जमील ने पीटीआई-भाषा से कहा, '' मामलों में बढ़ोतरी की तीव्रता इस बात को दर्शाती है कि पहली लहर के बाद बड़ी संख्या में ऐसे लोग थे जिनके संक्रमण की चपेट में आने का जोखिम अधिक था।''

जमील ने कहा, तथ्य यह है कि संक्रमण की पहली लहर के समाप्त होने के बाद लोगों ने सावधानी बरतना कम कर दिया और कोविड प्रोटोकॉल का पालन नहीं किया जोकि निश्चित तौर पर मामलों में उछाल का एक कारण है।

तमिलनाडु के क्रिश्चियन मेडिकल कॉलेज में विषाणु विज्ञान के प्रोफेसर टी जैकब जॉन ने कहा कि कोविड-19 बचाव नियमों का पालन नहीं किया जाना संक्रमण की नयी लहर की एक प्रमुख वजह में शुमार है।

जॉन ने पीटीआई-भाषा से कहा, '' बचाव नियमों में कमी की शुरुआत केंद्र सरकार ने की, जिसका सभी राजनीतिक दलों, सभी धार्मिक समूहों और बड़े स्तर पर आम जनता ने अनुसरण किया। सभी कर्मचारियों का टीकाकरण किए बिना स्कूल और कॉलेज खोल दिए गए। यह भी दूसरी लहर के लिए जिम्मेदार साबित हुआ।''

उन्होंने कहा, '' जहां भी संक्रमण के मामले बढ़ रहे थे, वहां सख्ती से नियम लागू किए जाने चाहिए थे। हालांकि, चुनाव के चलते कोई नेता ऐसा नहीं चाहता था। महामारी के दौरान चुनाव की योजना बेहद सावधानी से बनाई जानी चाहिए थी।''

वैज्ञानिकों का यह भी मानना है कि वायरस का बदलता स्वरूप भी संक्रमण की दूसरी लहर के लिए जिम्मेदार है।

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Web Title: Covid-19 cases increased rapidly due to changing forms of virus, sluggish vaccination and negligence: Scientists

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