रिपोर्ट- लॉकडाउन के दौरान 600 से ज्यादा सड़क हादसों में करीब 140 लोगों की गई जान
By भाषा | Updated: May 7, 2020 05:43 IST2020-05-07T05:43:14+5:302020-05-07T05:43:14+5:30
देश में सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए काम करने वाले गैर-लाभकारी संगठन की रिपोर्ट में कहा गया कि इस आंकड़े में 30 प्रतिशत पीड़ित प्रवासी श्रमिक शामिल हैं, जो अपने घरों को लौट रहे थे।

तस्वीर का इस्तेमाल केवल प्रतीकात्मक तौर पर किया गया है। (फाइल फोटो)
कोरोना वायरस का संक्रमण फैलने से रोकने के लिए लागू राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के पहले दो चरणों में हुई 600 से अधिक सड़क दुर्घटनाओं में लगभग 140 लोगों की जान चली गई। ‘सेवलाइफ फाउंडेशन’ की एक रिपोर्ट में यह जानकारी सामने आयी है।
देश में सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए काम करने वाले गैर-लाभकारी संगठन की रिपोर्ट में कहा गया कि इस आंकड़े में 30 प्रतिशत पीड़ित प्रवासी श्रमिक शामिल हैं, जो अपने घरों को लौट रहे थे।
रिपोर्ट में कहा गया है कि लॉकडाउन के कारण खाली पड़ी सड़कों पर तेज रफ्तार से गाड़ी चलाना इन मौतों की सबसे बड़ी वजहों में से एक है।
भारत, दुनिया भर के उन देशों में शामिल है, जहां सबसे ज्यादा सड़क दुर्घटनाएं होती है। भारत में हर साल लगभग पांच लाख सड़क दुर्घटनाएं होती हैं, जिनमें करीब 1.5 लाख लोग मारे जाते हैं।
सेवलाइफ फाउंडेशन द्वारा संकलित आंकड़ों के अनुसार, ‘‘देश में राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के दो चरणों (24 मार्च से 14 अप्रैल और 14 अप्रैल से 3 मई तक) के दौरान 600 से अधिक सड़क दुर्घटनाएं दर्ज की गईं।’’
इसमें कहा गया है कि पिछले पांच हफ्तों के दौरान, देश भर में सड़क दुर्घटनाओं के कारण लगभग 140 लोगों की जान गई है। इसमें से 100 से अधिक मौतें महज 9 राज्यों में दर्ज की गई हैं।