देश में कोरोना वायरस के प्रकोप से सबसे ज्यादा प्रभावित जिलों में शामिल इंदौर में तीन और मरीजों की मौत के बाद इस महामारी से दम तोड़ने वालों की तादाद बढ़कर 52 पर पहुंच गयी है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) प्रवीण जड़िया ने सोमवार को बताया कि पिछले 24 घंटे के दौरान शहर के अलग-अलग अस्पतालों में तीन मरीजों ने इलाज के दौरान दम तोड़ा। इनमें एक महिला और दो पुरुष शामिल हैं जिनकी उम्र 42 से 47 साल के बीच थी।
उन्होंने बताया कि कोविड-19 के सात नये मरीज मिलने के बाद जिले में संक्रमितों की कुल तादाद 890 से बढ़कर 897 पर पहुंच गयी है। इनमें से 71 मरीजों को इलाज के बाद स्वस्थ होने पर अस्पतालों से छुट्टी दी जा चुकी है। आंकड़ों की गणना के मुताबिक जिले में कोविड-19 से मृत्यु दर सोमवार सुबह तक की स्थिति में 5.8 प्रतिशत थी। जिले में इस महामारी से मरने वालों की दर पिछले कई दिन से राष्ट्रीय औसत से कहीं ज्यादा बनी हुई है। इंदौर में कोरोना वायरस के पहले मरीज मिलने के बाद से प्रशासन ने 25 मार्च से शहरी सीमा में कर्फ्यू लगा रखा है।
केंद्र सरकार ने सोमवार को कहा कि कोविड-19 संबंधी हालात मुंबई, पुणे, इंदौर, जयपुर, कोलकाता और पश्चिम बंगाल के कुछ अन्य स्थानों पर ‘‘विशेष रूप से गंभीर’’ हैं और लॉकडाउन के नियमों के उल्लंघन से कोरोना वायरस फैलने का खतरा है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि कोविड-19 के कारण मरने वालों की संख्या बढ़कर 543 हो गई है और इससे संक्रमित लोगों की संख्या 17,265 हो गई है।
गृह मंत्रालय ने कहा कि मध्य प्रदेश के इंदौर, महाराष्ट्र के मुंबई एवं पुणे, राजस्थान के जयपुर और पश्चिम बंगाल के कोलकाता, हावड़ा, पूर्वी मेदिनीपुर, उत्तर 24 परगना, दार्जिलिंग, कलिम्पोंग और जलपाईगुड़ी में हालात ‘‘विशेष रूप से गंभीर’’ हैं। उसने कहा, ‘‘बंद के नियमों के उल्लंघन के सामने आए मामले लोगों के स्वास्थ्य को गंभीर खतरा पैदा कर रहे हैं और कोविड-19 के फैलने का खतरा भी बढ़ा रहे हैं।’’