द्रमुक-काग्रेस गठबंधन में अंतर्विरोध, तमिलनाडु में सुशासन नहीं दे सकते: मोदी
By भाषा | Updated: February 25, 2021 19:08 IST2021-02-25T19:08:40+5:302021-02-25T19:08:40+5:30

द्रमुक-काग्रेस गठबंधन में अंतर्विरोध, तमिलनाडु में सुशासन नहीं दे सकते: मोदी
कोयंबटूर, 25 फरवरी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बृहस्पतिवार को तमिलनाडु में द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (द्रमुक) और कांग्रेस के बीच गठबंधन को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि दोनों विपक्षी दलों के बीच अंतर्विरोध इतना है कि वे तमिलनाडु में सुशासन नहीं दे सकते।
यहां एक जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि दोनों दलों का गठबंधन ‘‘भ्रष्टाचार के हैकाथॉन’’ जैसा है और उनकी फितरत ‘‘लूट’’ है।
उन्होंने कहा कि देश आज दो तरह की राजनीति देख रहा है। पहला है विपक्ष का कुशासन और भ्रष्टाचार जबकि दूसरा है राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) का संवेदना भरा सुशासन।
उन्होंने कहा, ‘‘विपक्ष की राजनीति डराने धमकाने वाली और लोगों को प्रताड़ित करने पर आधारित है। द्रमुक जब भी सत्ता में आती है तो वह बाहुबल संस्कृति को बढ़ावा देती है। हर जिले में उनके पास असामाजिक तत्व हैं जो निर्दोष लोगों को परेशान करते हैं।’’
उन्होंने कहा कि पूरे तमिलनाडु को पता है कि द्रमुक ने सत्ता में रहते हुए पूर्व मुख्यमंत्री जे जयललिता के साथ कैसा व्यवहार किया था।
उन्होंने कहा, ‘‘मुझे उसे दोहराने की जरूरत नहीं है। औरतों के प्रति यह उनके व्यवहार को दर्शाता है। दुख की बात ये है कि जिन्होंने जयललिता जी को परेशान किया, उन्हें कांग्रेस और द्रमुक ने सम्मानित किया।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि द्रमुक और कांग्रेस का गठबंधन ‘‘भ्रष्टाचार के हैकाथॉन’’ जैसा है।
उन्होंने कहा, ‘‘उनके नेता बैठते हैं और कैसे ‘लूटा’ जाए को लेकर मंथन करते हैं। जो सबसे अच्छा रास्ता बताता है उसे पद व मंत्रालय से नवाजा जाता है।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि परिवारवाद से ग्रसित दोनों पार्टियां अपने ‘‘प्रथम परिवार’’ को लगातार ‘‘लांच और रिलांच’’ करती रही है लेकिन अभी तक उन्हें इसमें सफलता नहीं मिली है।
उन्होंने कहा, ‘‘वहां लगातार पारिवारिक नाटक चल रहा है। कांग्रेस और द्रमुक अपने आंतरिक मामलों में इतने व्यस्त है कि वे तमिलनाडु में सुशासन प्रदान नहीं कर सकते।’’
ज्ञात हो कि पूर्व मुख्यमंत्री एम करूणानिधि के पुत्र एम के स्टालिन द्रमुक का नेतृत्व कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि द्रमुक ने तो पूरे तमिलनाडु की पार्टी कहलाने का हक भी खो दिया है।
उन्होंने कहा, ‘‘पिछली बार उसे 25 साल पहले अपने दम पर सरकार बनाने का मौका मिला था। कांग्रेस और द्रमुक दोनों ही अंतर्विरोधों की शिकार हैं।
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