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कांग्रेस ने मुठभेड़में उग्रवादी की मौत के मामले में एमएचआरसी से जांच की मांग की

By भाषा | Updated: August 14, 2021 14:19 IST

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शिलांग, 14 अगस्त मेघालय में विपक्षी कांग्रेस ने पुलिस के साथ मुठभेड़ में एक दुर्दांत उग्रवादी की मौत के मामले में मेघालय मानवाधिकार आयोग (एमएचआरसी) से जांच कराए जाने की मांग की है।

प्रतिबंधित संगठन हाइनीवट्रेप नेशनल लिबरेशन काउंसिल (एचएनएलसी) के पूर्व महासचिव चेरिस्टरफाइड थंगख्यू ने 2018 में आत्मसमर्पण किया था और शुक्रवार तड़के यहां मवलाई में थंगख्यू के घर के बाहर पुलिस के साथ मुठभेड़ में उसे मार गिराया गया था। इससे तीन दिन पहले एचएनएलससी ने शहर के व्यस्त बाजार वाले इलाके में आईडी विस्फोट किया था।

कांग्रेस सचिव एवं पूर्व मंत्री अम्परीन लिंगदोह ने एक बयान में कहा, ‘‘नागरिकों ने पुलिस की कार्रवाई को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं। पुलिस और पीड़ित परिवार दोनों से वास्तविक जरूरी तथ्य की पुष्टि के लिए मेघालय मानवाधिकार आयोग को इस संबंध में स्वतंत्र जांच करनी चाहिए।’’

उन्होंने कहा, ‘‘आम जन के मदद्देनजर यह पक्षपात रहितनहीं हो सकता है।’’ उन्होंने कहा कि ‘‘मुठभेड़ की शैली में’’ हत्या से जनता में आक्रोश है और इस संदिग्ध मामले से निपटने के तरीकों को लेकर बहस चल रही है।

इस घटना को ‘‘दुर्भाग्यपूर्ण’’ बताते हुए कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘यह घटना हमें एचएनएलसी द्वारा नागरिकों पर किए गए जघन्य हमलों से भ्रमित नहीं कर सकती है और मेघालय पुलिस को निश्चित रूप से कानून के मुताबिक किसी आरोपी को गिरफ्तार करना चाहिए।’’

एनएलएलसी ने शहर में मंगलवार को आईईडी विस्फोट किया था जिसमें एक महिला समेत दो लोग घायल हुए थे। पिछले महीने खलीहरियात में पुलिस के एक बैरक पर आईईडी विस्फोट में एक पुलिसकर्मी घायल हुआ था और भवन को नुकसान पहुंचा था।

एक अधिकारी ने बताया कि पूर्व उग्रवादी राज्य की राजधानी में हुए हालिया आईईडी विस्फोट में शामिल था और ऐसी आशंका है कि 2018 में आत्मसमर्पण करने के बाद वह आईईडी विस्फोट की कई घटनाओं में सरगना था। इस बीच, मेघालय के पुलिस महानिदेशक आर चंद्रनाथन ने बताया कि राज्य में सिलसिलेवार आईईडी विस्फोटों की जांच से पता चला है कि एचएनएलसी के नशेड़ी और जमीनी स्तर पर काम करने वाले कार्यकर्ता नापाक गतिविधियों को अंजाम दे रहे हैं।

उन्होंने कहा कि पुलिस ने 30 से अधिक जमीनी कार्यकर्ताओं की पहचान की है जो विद्रोही संगठन की गतिविधियों के प्रति ‘‘सहानुभूति रखते’’ हैं। चंद्रनाथन ने शुक्रवार को पत्रकारों से कहा, ‘‘हमने पिछले महीने खलीहरियात (आईईडी विस्फोट) की घटना में देखा, गिरफ्तार व्यक्तियों में से एक नशे का आदी था। और जिन लड़कों को उठाया गया और गिरफ्तार किया गया उनमें से अधिकतर जमीनी स्तर पर काम करने वाले कार्यकर्ता थे।’’ डीजीपी ने बताया कि बांग्लादेश में उनके कुछ ठिकानों में केवल 16 कैडर हैं, वहीं पुलिस ने 30 से अधिक जमीनी कार्यकर्ताओं की पहचान की है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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