पिछले दो दशक में युवाओं में कोलोरेक्टल कैंसर के मामले बढ़े : अपोलो समूह
By भाषा | Updated: September 23, 2021 17:01 IST2021-09-23T17:01:57+5:302021-09-23T17:01:57+5:30

पिछले दो दशक में युवाओं में कोलोरेक्टल कैंसर के मामले बढ़े : अपोलो समूह
नयी दिल्ली, 23 सितंबर देश के एक प्रमुख निजी स्वास्थ्य समूह ने बृहस्पतिवार को कहा कि पिछले दो दशकों में युवा वयस्कों में कोलोरेक्टल कैंसर के मामले बढ़ रहे हैं तथा कोविड-19 महामारी ने इस बीमारी से पीड़ित रोगियों की परेशानी को बढ़ा दिया है।
अपोलो हेल्थकेयर द्वारा संचालित एक अस्पताल के डॉक्टरों ने कहा कि जब लक्षण दिखाई देते हैं तो जांच में देरी होने से भी ऐसे मामले बढ़ जाते हैं तथा कोविड महामारी के दौरान घर पर रहने के कारण कई रोगियों की बीमारियां अगले चरण में पहुंच गयीं। कोलोरेक्टल कैंसर की शुरुआत पेट या मलाशय से होती है।
अपोलो समूह ने एक बयान में कहा, ‘‘पिछले दो दशक में 20 साल से करीब 49 साल तक की आयु के वयस्कों में कोलोरेक्टल कैंसर की दर बढ़ रही है।’’ बयान के अनुसार यह ऐसी उम्र होती है जब लोग सक्रिय होते हैं तथा यह दौर परिवार और करियर निर्माण के लिहाज से भी अहम होता है तथा उपचार के बाद ऐसे रोगियों के लिए जीवन की गुणवत्ता सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है।
बयान में कहा गया है, "हालांकि, अगर शुरुआती चरणों में कोलोरेक्टल कैंसर की पहचान की जाए तो इसे पूरी तरह से ठीक किया जा सकता है तथा रोबोटिक कोलोरेक्टल सर्जरी से मरीजों को सामान्य जीवन जीने में मदद मिलती है।"
अपोलो इंस्टीट्यूट ऑफ कोलोरेक्टल सर्जरी ने बृहस्पतिवार को चेन्नई में अपने पांच साल पूरे कर लिए। इस मौके एक कार्यक्रम आयोजित किया गया जो ऑफलाइन और ऑनलाइन दोनों तरह से आयोजित था। इस दौरान कोलोरेक्टल कैंसर के लिए सर्जरी कराने वाले कुछ रोगियों ने अपने अनुभव साझा किए।
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