ब्लिंकन ने डोभाल से वार्ता की, चर्चा द्विपक्षय संबंध को अगले स्तरपर ले जाने पर केंद्रित रही
By भाषा | Updated: July 28, 2021 16:06 IST2021-07-28T16:06:45+5:302021-07-28T16:06:45+5:30

ब्लिंकन ने डोभाल से वार्ता की, चर्चा द्विपक्षय संबंध को अगले स्तरपर ले जाने पर केंद्रित रही
नयी दिल्ली, 28 जुलाई अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने भारत-अमेरिका संबंध को ‘अगले स्तर’ तक ले जाने पर विशेष बल देते हुए बुधवार को राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजित डोभाल के साथ विविध द्विपक्षीय और क्षेत्रीय मुद्दों पर बातचीत की।
समझा जाता है कि दोनों के बीच करीब एक घंटे तक चली बातचीत के दौरान अफगानिस्तान में तेजी से बदलती स्थिति एवं हिंद-प्रशांत साझेदारी के विषय छाये रहे।
सूत्रों ने बताया कि दोनों पक्षों ने सुरक्षा, रक्षा, आर्थिक और प्रौद्योगिकी के क्षेत्रों के महत्वपूर्ण रणनीतिक मुद्दों पर चर्चा की तथा द्विपक्षीय संबंध को अगले स्तर पर ले जाने के लिए दीर्घकालिक उपायों पर विशेष ध्यान दिया गया।
सूत्रों के मुताबिक क्षेत्रीय एवं वैश्विक सुरक्षा से जुड़े समसामयिक एवं भविष्यगत मुद्दों पर विचारों का आदान-प्रदान हुआ।
ब्लिंकन अफगानिस्तान में तेजी से बदल रहे सुरक्षा परिदृश्य, हिंद-प्रशांत क्षेत्र में भागीदारी को बढ़ावा देने और कोविड-19 महामारी से निपटने के प्रयासों समेत अन्य विषयों पर बातचीत के व्यापक एजेंडे के साथ दो दिवसीय यात्रा पर मंगलवार शाम को दिल्ली पहुंचे हैं।
अमेरिकी विदेश मंत्री का पदभार संभालने के बाद ब्लिंकन की यह पहली भारत यात्रा और जनवरी में अमेरिका में सत्ता में आने के बाद जो बाइडेन प्रशासन के किसी उच्च पदस्थ अधिकारी की यह तीसरी भारत यात्रा है। अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन मार्च में भारत आए थे जबकि जलवायु परिवर्तन पर अमेरिका के विशेष दूत जॉन केरी ने अप्रैल में नयी दिल्ली की यात्रा की थी।
ब्लिंकन ने बाद में विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ व्यापक चर्चा की। चर्चा का एजेंडा अफगानिस्तान में तेजी से बदल रहे सुरक्षा परिदृश्य, हिंद-प्रशांत क्षेत्र में भागीदारी को बढ़ावा देने के तौर तरीके और कोविड-19 महामारी से निपटने के प्रयास आदि था।
ब्लिंकन ने सुबह में भारत में नागरिक संस्थाओं के नेताओं के साथ बैठक की। बैठक के बाद ब्लिंकन ने ट्विटर पर कहा कि अमेरिका और भारत लोकतांत्रिक मूल्यों के प्रति प्रतिबद्धता व्यक्त करते हैं।
ब्लिंकन ने कहा, ‘‘मुझे आज नागरिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों से मिलकर खुशी हुई। अमेरिका और भारत लोकतांत्रिक मूल्यों के प्रति प्रतिबद्धता साझा करते हैं। यह हमारे संबंधों की बुनियाद का हिस्सा है और भारत के बहुलवादी समाज और सद्भाव के इतिहास को दर्शाता है। नागरिक संस्थाएं इन मूल्यों को बढ़ावा देने में मदद करती हैं।
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