भोपाल अस्पताल अग्निकांड : नन्हीं आंखों से दुनिया देखने से पहले ही आग ने छीन लिया चार बच्चों का जीवन

By भाषा | Updated: November 9, 2021 14:02 IST2021-11-09T14:02:01+5:302021-11-09T14:02:01+5:30

Bhopal hospital fire: Even before seeing the world with young eyes, the fire took away the lives of four children | भोपाल अस्पताल अग्निकांड : नन्हीं आंखों से दुनिया देखने से पहले ही आग ने छीन लिया चार बच्चों का जीवन

भोपाल अस्पताल अग्निकांड : नन्हीं आंखों से दुनिया देखने से पहले ही आग ने छीन लिया चार बच्चों का जीवन

भोपाल, नौ नवंबर अपनी मां के सुरक्षित गर्भ से बाहर निकलने के बाद वे नवजात शिशु अपनी नन्हीं आंखों से दुनिया को देख भी नहीं पाए थे कि यहां अस्पताल में लगी आग ने उनका जीवन छीन लिया।

भोपाल के सरकारी हमीदिया अस्पताल की विशेष नवजात शिशु इकाई में सोमवार की रात को आग लगने से चार शिशुओं की मौत हो गई। हादसे के वक्त इकाई में 40 नवजात शिशु भर्ती थे। इनमें से बचे 36 शिशुओं का दूसरे अलग-अलग वार्ड में उपचार किया जा रहा है।

एक स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि एक से नौ दिन के इन नवजात शिशुओं के माता-पिता अपनी संतानों के दुनिया में आने से बेहद खुश थे और शायद इनके नाम रखने पर विचार कर रहे होंगे लेकिन किसी को क्या पता था कि इस दुनिया में अब उन्हें केवल ‘‘इरफाना का बच्चा’’, ‘‘शिवानी का बच्चा’’, ‘‘शाजमा का बच्चा’’ और ‘‘रचना का बच्चा’’ के रूप में याद किया जायेगा।

इस घटना के बाद सोशल मीडिया पर वायरल हो रही एक तस्वीर, जल चुके चिकित्सा उपकरणों की राख और कालिख वार्ड में हुई भीषण त्रासदी की दास्तां बताने के लिए पर्याप्त है।

अस्पताल में आग लगने की सूचना मिलने के बाद तुरंत मौके पर पहुंचने वाले लोगों में शामिल प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने वार्ड के अंदर के दृश्य को ‘‘बहुत डरावना’’ बताया।

भोपाल शहर में गांधी मेडिकल कॉलेज और हमीदिया अस्पताल के परिसर में स्थित कमला नेहरु बाल चिकित्सालय के एसएनसीयू में सोमवार रात आठ बजकर 35 मिनट पर आग लग गई। इस इमारत के दूसरी तरफ भोपाल की सुंदर बड़ी झील है।

प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, आग की खबर फैलते ही अस्पताल में कोहराम मच गया और चिंतित माता-पिता और परिजन अपने बच्चों को लेने और उन्हें बचाने के लिए वार्ड में घुसने की कोशिश करने लगे। सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें ऐसा करने से रोक दिया। आग लगने के बाद धुआं वार्ड और इसके निकासी के रास्तों में भर गया। एक दमकल कर्मी ने बताया कि लोगों की अफरा-तफरी और धुएं के बीच वह किसी तरह घुटने के बल चलकर वार्ड तक पहुंचे।

डॉक्टर और नर्सों ने नवजात बच्चों को दूसरे वार्ड में स्थानांतरित करने का प्रयास किया और वह सभी 40 बच्चों को बाहर निकालने में सफल रहे लेकिन उनमें से चार शिशु नहीं बच सके जो कि पहले से ही गंभीर स्थिति में थे। बाद में कुछ शिशुओं के माता-पिता ने अपने बच्चों को दूसरे अस्पतालों में स्थानांतरित किया।

सोशल मीडिया पर वायरल इस घटना के एक वीडियो में एक स्ट्रेचर पर चार-पांच शिशुओं को एक साथ रखकर एक व्यक्ति अपने कंधों पर ऑक्सीजन का सिलेंडर ले जाते हुए दिखाई दे रहा है।

चिंतित परिजन अपने बच्चों की तलाश में इधर उधर भागते देखे गए। कुछ नाराज परिजनों ने यह भी आरोप लगाया कि बच्चों को बचाने के बजाय अस्पताल के कर्मचारी वहां से भाग गए।

प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि एक माता-पिता अपने बच्चे की तलाश कर रहे थे जबकि कुछ अन्य अपने बच्चों के साथ अस्पताल से बाहर निकल आए।

मंगलवार को पीटीआई भाषा से बातचीत में सारंग ने कहा, ‘‘मैंने अन्य चिकित्सा कर्मचारियों के साथ बच्चों को दूसरे वार्ड में स्थानांतरित किया। मैंने अपने हाथ से वार्ड में खिड़कियों और दरवाजों के कांच को तोड़ा ताकि वहां से धुआं बाहर निकल सके और हम बच्चों को सुरक्षित स्थानों पर ले जा सकें। ‘एसएनसीयू वार्ड में लगी आग में चार बच्चों की मौत हो गई। घटना की सूचना मिलते ही हम अन्य लोगों के साथ मौके पर पहुंचे। वार्ड के अंदर अंधेरा था। हमने बच्चों को बगल के वार्ड में स्थानांतरित किया।’’

सारंग ने कहा कि शॉर्ट सर्किट के कारण आग लगी और चार शिशुओं की मौत हो गई। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पीड़ितों के परिवार को चार-चार लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है।

चौहान ने एक ट्वीट में कहा कि बचाव अभियान तेजी से चलाया गया और आग पर काबू पा लिया गया है। उन्होंने कहा कि भोपाल के कमला नेहरु अस्पताल के शिशु वार्ड में आग की घटना दुखद है। घटना की उच्च स्तरीय जांच के निर्देश दिए गए हैं। अतिरिक्त मुख्य सचिव (स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा) मोहम्मद सुलेमान यह जांच करेंगे।

पूर्व मुख्यमंत्री और विपक्ष के नेता कमलनाथ ने घटना को बेहद दर्दनाक बताते हुए सरकार से इसकी उच्च स्तरीय जांच कराने और इसके लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है।

भारतीय जनता पार्टी की मध्य प्रदेश इकाई के अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा ने भी इस घटना पर दुख व्यक्त किया। उन्होंने इस घटना में झुलसे लोगों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की।

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Web Title: Bhopal hospital fire: Even before seeing the world with young eyes, the fire took away the lives of four children

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