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अर्णब की पत्नी ने उच्चतम न्यायालय को लिखा पत्र, एससीबीए अध्यक्ष पर दुर्भावनापूर्ण प्रयास का आरोप लगाया

By भाषा | Updated: November 11, 2020 21:59 IST

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नयी दिल्ली, 11 नवंबर पत्रकार अर्णब गोस्वामी की पत्नी ने एससीबीए के अध्यक्ष दुष्यंत दवे के खिलाफ उच्चतम न्यायालय के महासचिव को पत्र लिखा है और उन पर आत्महत्या के लिए कथित रूप से उकसाने के मामले में उनके पति की जमानत अर्जी की सुनवाई में पूर्वाग्रह पैदा करने का ‘दुर्भावनापूर्ण प्रयास’ करने का आरोप लगाया।

उच्चतम न्यायालय बार एसोसिएशन (एससीबीए) के अध्यक्ष दुष्यंत दवे ने मंगलवार को शीर्ष अदालत के महासचिव को पत्र लिखकर एक इंटीरियर डिजाइनर को कथित रूप से आत्महत्या के लिए उकसाने के वर्ष 2018 के मामले में गोस्वामी की अंतरिम जमानत अर्जी को ‘चुनिंदा तरीके’ से बुधवार को अवकाशकालीन पीठ के सामने सूचीबद्ध करने पर ‘कड़ा विरोध’ दर्ज कराया था।

शीर्ष अदालत ने बुधवार को रिपब्लिक टीवी के प्रधान संपादक गोस्वामी को अंतरिम जमानत दे दी।

साम्याब्रत राय गोस्वामी ने कहा है कि वह वरिष्ठ वकील द्वारा भारत के उच्चतम न्यायालय के महासचिव को लिखे गये ‘सार्वजनिक हो चुके इस घृणित’ पत्र से स्तब्ध हैं कि गोस्वामी की विशेष अनुमति याचिका को सूचीबद्ध करने में उचित प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया।

साम्याब्रत ने कहा, ‘‘ आज जब मैंने श्री दवे का पत्र पढ़ा तो मैं इस बात से स्तब्ध और डर गयी कि किस हद तक निहित स्वार्थी तत्व काम करते हैं। मैं न तो श्री दवे को जानती हूं और न ही मैं उनसे कभी मिली। लेकिन श्री दवे द्वारा चुनिंदा रूप से मेरे पति की याचिका को निशाना बनाये जाने का मेरे द्वारा विरोध करना ही थी, क्योंकि वह उन अन्य मामलों पर चुप रहे जिसे अतीत में उच्चतम न्यायालय ने अपने विवेक से अत्यावश्यकता के हाथ में लिये।’’

उन्होंने कहा कि कुछ मामलों में दवे की चुप्पी और इस वर्तमान मामले में उनका ‘चुनिंदा तरीके से असंतोष प्रकट करना’ न केवल उनके पति के वास्ते न्याय के लिए पूर्वाग्रहपूर्ण है बल्कि यह तिरस्कारपूर्ण है क्योंकि उसकी मंशा न्यायप्रशासन में दखल देना है।

वैसे दवे ने अपने पत्र में कहा था कि गोस्वामी के विरूद्ध उनके मन में कुछ भी नहीं है और वह सभी नागरिकों की भांति उच्चतम न्यायालय जाने के उनके अधिकारों में किसी भी तरह दखल देने के लिए भी यह पत्र नहीं लिख रहे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘ लेकिन गंभीर मुद्दा मामलों की चुनिंदा ढंग से सूचीबद्ध करना है जिसे आपके नेतृत्व में रजिस्ट्री कोविड महामारी के दौरान पिछले आठ महीने से लगी हुई है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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