लाइव न्यूज़ :

अन्नाद्रमुक ने अपनी नियमावली में बदलाव किया, शशिकला के लिए दरवाजे बंद किए

By भाषा | Updated: December 1, 2021 17:50 IST

Open in App

चेन्नई, एक दिसंबर तमिलनाडु की मुख्य विपक्षी पार्टी और वी. के. शशिकला की चुनौती से निपटने की कोशिश कर रही अन्नाद्रमुक ने बुधवार को अपनी नियमावली में बदलाव किया ताकि मौजूदा शीर्ष दो पदों के ढांचे को बरकरार रखा जा सके और उन्हें मजबूती प्रदान की जा सके। इन पदों पर अभी ओ. पनीरसेलवम और के. पलानीस्वामी पदस्थ हैं।

नियमावली में बदलाव का फैसला अन्नाद्रमुक की कार्यकारी समिति की यहां हुई बैठक में लिया गया जिससे शशिकला के लिए रास्ते प्रभावी तौर पर बंद हो गए जो खुद के पार्टी ‘महासचिव’ होने का दावा कर रही हैं।

अन्नाद्रमुक की स्वर्ण शताब्दी वर्ष के चलते साल भर आयोजित होने वाले कार्यक्रमों के दौरान 17 अक्टूबर को हुए पार्टी समारोह में दिवंगत मुख्यमंत्री जे जयललिता की करीबी समझी जाने वाली शशिकला ने अन्नाद्रमुक पर अपनी पकड़ मजबूत करने का प्रयास करते हुए खुद को पार्टी का महासचिव घोषित किया था, जिसका पार्टी नेतृत्व ने कड़ा विरोध जताया था।

गौरतलब है कि वर्ष 2017 में पार्टी नियमों में किए गए बदलाव के तहत महासचिव के पद में निहित सभी शक्तियां नव सृजित पदों, पार्टी समन्वयक (पनीरसेलवम) और संयुक्त समन्वयक (पलानीस्वामी) में निहित कर दी गई थीं और इस नए बदलाव से शीर्ष पार्टी ढांचे को मजबूती मिलेगी।

ऑल इण्डिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कषगम (अन्नाद्रमुक) ने पार्टी की नियमावली में परिवर्तन कर शीर्ष नेतृत्व के चुनाव के लिए ‘प्राथमिक सदस्यों’ के लिए ‘एक मत’ की व्यवस्था की है। यह शीर्ष नेतृत्व दो पदों समन्वयक और संयुक्त समन्वयक को मिलाकर बना है। वहीं, दो पदों के लिए अलग मत नहीं होंगे क्योंकि दोनों पद एक साथ पार्टी का शीर्ष नेतृत्व का निर्माण करते हैं।

अन्नाद्रमुक के मुताबिक शशिकला पार्टी की सदस्य नहीं हैं, हालांकि वह महासचिव होने का दावा करती हैं।

वरिष्ठ नेता डी जयकुमार ने संवाददाताओं से कहा कि जो पांच साल या इससे अधिक समय से सदस्य हैं, वे ही पार्टी नेतृत्व का चुनाव करने के लिए मतदान की अर्हता रखते हैं।

दूसरा संशोधन उस मौलिक नियम को स्पष्ट करता है कि पार्टी नेतृत्व का चयन केवल प्राथमिक अन्नाद्रमुक सदस्यों द्वारा किया जा सकता है। वहीं, तीसरे संशोधन के मुताबिक, अन्नाद्रमुक नेतृत्व का चुनाव करने वाले सदस्यों के मूल नियमों में कोई छूट नहीं की जा सकती।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Open in App

संबंधित खबरें

भारतटीचर से लेकर बैंक तक पूरे देश में निकली 51,665 भर्तियां, 31 दिसंबर से पहले करें अप्लाई

भारतगोवा अग्निकांड पर पीएम मोदी और राष्ट्रपति ने जताया दुख, पीड़ितों के लिए मुआवजे का किया ऐलान

भारतGoa Fire Accident: अरपोरा नाइट क्लब में आग से 23 लोगों की मौत, घटनास्थल पर पहुंचे सीएम सावंत; जांच के दिए आदेश

भारतगोवा के नाइट क्लब में सिलेंडर विस्फोट में रसोई कर्मचारियों और पर्यटकों समेत 23 लोगों की मौत

पूजा पाठPanchang 07 December 2025: जानें आज कब से कब तक है राहुकाल और अभिजीत मुहूर्त का समय

भारत अधिक खबरें

भारतEPFO Rule: किसी कर्मचारी की 2 पत्नियां, तो किसे मिलेगी पेंशन का पैसा? जानें नियम

भारतरेलवे ने यात्रा नियमों में किया बदलाव, सीनियर सिटीजंस को मिलेगी निचली बर्थ वाली सीटों के सुविधा, जानें कैसे

भारतकथावाचक इंद्रेश उपाध्याय और शिप्रा जयपुर में बने जीवनसाथी, देखें वीडियो

भारत2024 में महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव, 2025 तक नेता प्रतिपक्ष नियुक्त नहीं?, उद्धव ठाकरे ने कहा-प्रचंड बहुमत होने के बावजूद क्यों डर रही है सरकार?

भारतजीवन रक्षक प्रणाली पर ‘इंडिया’ गठबंधन?, उमर अब्दुल्ला बोले-‘आईसीयू’ में जाने का खतरा, भाजपा की 24 घंटे चलने वाली चुनावी मशीन से मुकाबला करने में फेल