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सड़क सुरक्षा के लिए 14 राज्यो में 7270 करोड़ रुपये की नई योजना शुरू की जाएगी

By भाषा | Updated: September 26, 2021 17:28 IST

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(सूर्य देसराजू)

अमरावती, 26 सितंबर केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय सड़क सुरक्षा को मजबूत करने के लिए 7,270 करोड़ रुपये का राज्य सहायता कार्यक्रम शुरू करने जा रहा है ताकि 'भारतीय सड़कों पर शून्य दुर्घटनाओं' के दृष्टिकोण को साकार करने में मदद मिल सके।

केंद्र सरकार द्वारा प्रायोजित छह वर्षीय कार्यक्रम को उन 14 राज्यों में लागू किया जाएगा जहां देश में होने वाली कुल सड़क दुर्घटनाओं में से 85 प्रतिशत होती हैं।

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय 3635 करोड़ रुपये की बजटीय सहायता देगा जबकि विश्व बैंक और एशिया विकास बैंक से 1818-1818 करोड़ रुपये का कर्ज लिया जाएगा।

कुल राशि में से, 6,725 करोड़ रुपये 14 राज्यों को उनके प्रदर्शन के आधार पर वितरित किए जाएंगे, जबकि केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय क्षमता निर्माण गतिविधियों पर 545 करोड़ रुपये खर्च करेगा।

राज्य को भेजे गए अवधारणा नोट में मंत्रालय ने कहा कि यह योजना राज्य सरकारों को जमीनी स्तर पर सड़क सुरक्षा हस्तक्षेप के लिए प्रोत्साहित करेगी जिसका मकसद सड़क हादसों को रोकना और हताहतों की संख्या में कमी लाना है।

इस योजना के तहत लक्षित राज्य उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, कर्नाटक, राजस्थान, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, गुजरात, बिहार, तेलंगाना, पश्चिम बंगाल, ओडिशा, हरियाणा और असम हैं।

शीर्ष आधिकारिक सूत्रों ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, “यह कार्य (आउटपुट) और परिणाम-संचालित योजना है जिसमें राज्यों का (सड़क सुरक्षा हस्तक्षेप के) 11 अनिवार्य और तीन वैकल्पिक संकेतकों पर प्रदर्शन के आधार पर मूल्यांकन किया जाएगा।”

मंत्रालय द्वारा तैयार की गई शुरूआती परियोजना रिपोर्ट में कहा गया है कि मोटर वाहन संशोधन अधिनियम (2019) को मृतक संख्या में कमी लाने के उद्देश्य से लाया गया था।

सूत्रों ने बताया, “मजबूत कानून का लाभ उठाने के लिए, सड़क सुरक्षा के संबंधित क्षेत्रों जैसे सड़क इंजीनियरिंग, प्रवर्तन, सड़क सुरक्षा और मीडिया अभियान और आपात स्थिति में कुशल प्रतिक्रिया प्रणाली पर ध्यान देना जरूरी है। नतीजे देने वाली रणनीतियों पर काम करने के लिए राज्यों को समर्थन देने की आवश्यकता है। इसलिए नई योजना लाई गई है। ”

भारत में 2019 में 4.49 लाख दुर्घटनाओं में लगभग 1.51 लाख मौत हुई थी। कुल मौतों में से 14 राज्यों में 1,27,379 मृत्यु हुई थी।

साल 2020 में, देश भर में हुई सड़क दुर्घटनाओं में 1.32 लाख मौतें दर्ज की गईं, जबकि साल में लंबे समय तक कोविड-19 के कारण लॉकडाउन लगा हुआ था। इस नई योजना के तहत मौतों की संख्या को मार्च 2027 तक 30 फीसदी तक कम करने का लक्ष्य है।

सभी राज्यों में 2022-23 से एकीकृत सड़क दुर्घटना डेटाबेस (आईआरएडी) शुरू किया जाएगा और इसका इस्तेमाल राज्य राजमार्गों और प्रमुख जिला सड़कों पर ‘ब्लैक स्पॉट’ (सड़क पर वह स्थान जहां सबसे ज्यादा हादसे होते हैं) की पहचान करने और उसमें सुधार करने के लिए किया जाएगा।

राज्य शिक्षा बोर्डों को 2022-23 से छठी से नौवीं कक्षा के लिए और उसके अगले साल से 12वीं कक्षा तक के लिए सड़क सुरक्षा पर एक अध्याय शामिल करना होगा।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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