मुंबई : हाल ही में सरकार ने बैंकों से पेंशन भोगियों को उनके खाते से संबंधित मासिक पर्ची उपलब्ध कराने को कहा है, जिसमें उनकी जमा की गई राशि, भुगतान की गई राशि आदि से संबंधित सभी जानकारियां होगी । इससे लोगों को अब बैंक जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी । साथ ही उन्हें एसएमएस या ईमेल के जरिए भी अपने अकाउंट से संबंधित जानकारी मिल जाएगी ।
वही इमरजेंसी में रुपयों की जरूरत को पूरा करने में प्रोविडेंट फंड का पैसा काम आता है । कोरोना काल में सरकार की ओर से इसके 75% तक रकम निकालने की सुविधा दी गई, जिससे लोगों की सहूलियत और बढ़ गई है । पीएफ अकाउंट के कई फायदे हैं इसमें इनकम टैक्स में सेक्शन 80c के तहत 1.5 लाख रुपए तक के निवेश पर टैक्स में छूट मिलती है । साथ ही इस पर अच्छा ब्याज भी मिलता है। इसके अलावा ईपीएफओ ने कुछ नियम बनाए जिसके कई फायदे हैं।
1. अगर नौकरी के दौरान आप अपने पीएफ का पैसा निकालना चाहते हैं तो आपको जॉब करते हुए कम से कम 5 साल होना जरूरी है । दरअसल 5 साल पहले पीएफ खाते से पैसे निकालने पर आपको टैक्स भरना होगा जबकि 5 साल बाद पैसे निकालने पर आपको कोई टैक्स नहीं लगता है।
2. ईपीएफ अकाउंट दो तरह के होते हैं । पहला एक्टिव खाता और दूसरा डीएक्टिव खाता । एक्टिव खाता जिसमें नियमित रूप से निवेश होता है जबकि निष्क्रिय खाते जिसमें 3 साल से कोई नया निवेश नहीं हुआ होता है । एक्टिव डीएक्टिव खातों दोनों पर हर साल ब्याज मिलता है । हालांकि इससे पहले डीएक्टिव खाते पर ब्याज नहीं दिया जाता था लेकिन 2016 के बाद से इस पर ब्याज दिया जाने लगा।
3. ईपीएफ के निवेश पर फिलहाल 8.50 फ़ीसदी ब्याज मिल रहा है । इसमें कंपाउंडिंग इंटरेस्ट जुड़ता है इसलिए फंड कम समय में ज्यादा जुड़ता है । लंबे समय तक निवेश में इसमें ज्यादा फायदा होता है । हालांकि कई लोग नौकरी बदलने या इमरजेंसी में पीएफ का पैसा निकाल लेते हैं ।
4. रिटायरमेंट से पहले अगर पीएफ अकाउंट से किसी भी तरह की निकासी नहीं की जाती है तो आपको पेंशन का भी फायदा मिलेगा । ईपीएफओ की इपीएस योजना के तहत आपको हर महीने पेंशन मिलेगी।
5. ईपीएफओ के मुताबिक अगर ईपीएफ सदस्य अपनी नौकरी के दौरान पीएफ का पैसा नहीं निकालते हैं तो रिटायरमेंट के वक्त में मिलने वाली राशि पर कोई टैक्स नहीं लगेगा साथी लगातार कंपाउंड व्यास का फायदा भी मिलेगा।