बॉम्बे हाईकोर्ट का फैसला, प्रेम के दौरान शारीरिक संबंध बनाना रेप नहीं
By स्वाति सिंह | Updated: April 2, 2018 11:08 IST2018-04-02T11:07:26+5:302018-04-02T11:08:23+5:30
हाई कोर्ट की बेंच ने यह फैसला योगेश पालेकर के केस को लेकर सुनाया है, एक महिला ने दावा किया था कि योगेश ने उससे शादी का झांसा देकर रेप किया है।

बॉम्बे हाईकोर्ट का फैसला, प्रेम के दौरान शारीरिक संबंध बनाना रेप नहीं
पणजी, 2 अप्रैल: बॉम्बे हाई कोर्ट की गोवा शाखा ने प्रेम सम्बंध के दौरान पार्टनर की सहमति से शारीरिक सम्बंध बनाने पर उस व्यक्ति को रेप दोषी नहीं ठहराया जा सकता। बेंच ने कहा कि प्रेम सम्बंध के दौरान हुआ सेक्स 'अ डीप लव अफेयर' यानि गहरे प्यार का मामला है।
हाई कोर्ट की बेंच ने यह फैसला योगेश पालेकर के केस को लेकर सुनाया है, एक महिला ने दावा किया था कि योगेश ने उससे शादी का झांसा देकर रेप किया है। इसके बाद ट्रायल कोर्ट ने आरोपी पर 7 साल की जेल और 10 हजार रुपए का जुर्माना लगाया था। ट्रायल कोर्ट के इस फैसले को चुनौती देते हुए योगेश ने 2013 में हाई कोर्ट में गुहार लगाई थी। इस मामले पर फैसला सुनते हुए हाई कोर्ट ने आरोपी को बरी किया है।
योगेश के एक कैसीनो में काम करता था, वहां उसी के ऑफिस में काम करने वाली लड़की के साथ उसका अफेयर था। लड़की ने आरोप लगाया था कि एक दिन योगेश अपने परिजनों से मिलाने के लिए उसे अपने घर ले गया। वहां जाकर पता चला कि उसके घर पर कोई नहीं है। इसके बाद वह वहीं रात को रुक गई जहां दोनों के बीच शारीरिक सम्बंध बना। महिला ने यह बताया कि इसके बाद भी योगेश ने महिला के साथ कई बार सम्बंध बनाया। बाद में महिला ने उसपर बलात्कार की शिकायत दर्ज कराई। हालांकि कोर्ट ने योगेश को बरी कर दिया है।