पाकिस्तान के खिलाफ था मैच, BCCI को बिना बताए परिवार के साथ घूमने खंडाला चले गए सचिन तेंदुलकर, जानें मामला

भारत के महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर अपने 24 साल के क्रिकेट करियर में शायद ही कभी किसी विवाद में फंसे हो... तेंदुलकर का स्वभाव मैदान पर और बाहर शांत था। कई खिलाड़ियों ने अपने करियर के दौरान बीसीसीआई से नाराजगी जताई है, लेकिन तेंदुलकर के साथ ऐसा कभी नहीं हुआ।

1998 में, दो भारतीय टीमें अलग-अलग टूर्नामेंट में खेल रही थीं। अजय जडेजा के नेतृत्व में सचिन तेंदुलकर राष्ट्रमंडल खेलों में खेलने के लिए मलेशिया गए थे। हालांकि, राष्ट्रमंडल खेलों में तेंदुलकर का फॉर्म नहीं चल पाया और भारत नॉकआउट चरणों में बाहर हो गया।

इसी दौरान भारत की दूसरी टीम कनाडा के टोरंटो में पाकिस्तान के खिलाफ सहारा कप खेल रही थी। कॉमनवेल्थ गेम्स से टीम इंडिया की चुनौती खत्म होने तक यहां पाकिस्तान के खिलाफ तीन मैच हुए थे।

बीसीसीआई ने सचिन, अजय, रॉबिन सिंह और अनिल कुंबले को कनाडा भेजने का फैसला किया है। ताकि ये खिलाड़ी बाकी के दो मैच पाकिस्तान के खिलाफ खेल सकें।

सहारा कप में खेलने वाले राष्ट्रमंडल खेलों के खिलाड़ियों पर पाकिस्तान को ऐतराज था, इसलिए बीसीसीआई ने जडेजा और सचिन को भेजने का फैसला किया।

जडेजा अपना चौथा मैच खेलने कनाडा पहुंचे, लेकिन तेंदुलकर नहीं। कॉमनवेल्थ गेम्स के बाद तेंदुलकर अपने परिवार के साथ पिकनिक पर गए थे। यह बात बीसीसीआई को भी मालूम नहीं।

तेंदुलकर पाकिस्तान के खिलाफ अपना आखिरी मैच खेलने के लिए कनाडा पहुंचे। उस मैच में तेंदुलकर ने 77 रन बनाए थे।

सचिन की पारी के बावजूद पाकिस्तान ने भारत को पांच विकेट से हराया और सहारा कप 4-1 से अपने नाम किया।