सीईसी की दो टूक- 'आरटीआई के दायरे में काम करे बीसीसीआई', 15 दिन के अंदर सिस्टम तैयार करने के निर्देश

सीईसी ने आरटीआई प्रावधान के अंतर्गत सूचना के आवेदन प्राप्त करने के लिये बीसीसीआई को 15 दिन के अंदर ऑनलाइन और ऑफलाइन तंत्र तैयार करने के निर्देश दिये।

By भाषा | Updated: October 1, 2018 20:48 IST2018-10-01T20:44:56+5:302018-10-01T20:48:36+5:30

central information commission brings bcci under rti right to information | सीईसी की दो टूक- 'आरटीआई के दायरे में काम करे बीसीसीआई', 15 दिन के अंदर सिस्टम तैयार करने के निर्देश

बीसीसीआई (फाइल फोटो)

नई दिल्ली, 1 अक्टूबर: केंद्रीय सूचना आयोग (सीआईसी) ने सोमवार को साफ किया कि भारतीय क्रिकेट बोर्ड अब सूचना के अधिकार (आरटीआई) के अंतर्गत काम करेगा और इसकी धाराओं के अंतर्गत देश के लोगों के प्रति जवाबदेह होगा। 

आरटीआई मामलों में अपील की शीर्ष संस्था ‘सीआईसी’ ने इस निष्कर्ष को निकालने के लिये कानून, उच्चतम न्यायालय के आदेश, भारत के विधि आयोग की रिपोर्ट तथा युवा एवं खेल मामलों के मंत्रालय के केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी की प्रस्तुतियों को देखा कि बीसीसीआई की स्थिति, प्रकृति और काम करने की विशेषतायें आरटीआई प्रावधान की धारा दो (एच) की जरूरी शर्तों को पूरा करती है। 

सूचना आयुक्त श्रीधर आचार्युलू ने 37 पन्ने के आदेश में कहा, 'उच्चतम न्यायालय ने भी फिर से पुष्टि कर दी कि बीसीसीआई देश में क्रिकेट प्रतियोगिताओं को आयोजित करने के लिये ‘स्वीकृत’ राष्ट्रीय स्तर की संस्था है जिसके पास इसका लगभग एकाधिपत्य है।'

आचार्युलू ने कानून के अंतर्गत जरूरी केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी, केंद्रीय सहायक सार्वजनकि सूचना अधिकारी और प्रथम अपीली अधिकारियों के तौर पर योग्य अधिकारी नियुक्त करने के लिये अध्यक्ष, सचिव और प्रशाासकों की समिति को निर्देश दिया।

उन्होंने आरटीआई प्रावधान के अंतर्गत सूचना के आवेदन प्राप्त करने के लिये बीसीसीआई को 15 दिन के अंदर ऑनलाइन और ऑफलाइन तंत्र तैयार करने के निर्देश दिये। यह मामला उनके समक्ष तब प्रस्तुत हुआ जब खेल मंत्रालय ने आरटीआई आवेदक गीता रानी को संतोषजनक जवाब नहीं दिया जिन्होंने उन प्रावधानों और दिशानिर्देशों को जानने की मांग की थी जिसके अंतर्गत बीसीसीआई भारत का प्रतिनिधित्व कर रहा है और देश के लिये खिलाड़ियों का चयन कर रहा है।

उन्होंने कहा, 'बीसीसीआई को आरटीआई प्रावधान के अंतर्गत आने वाले राष्ट्रीय खेल महासंघ (एनएसएफ) के रूप में सूचीबद्ध करना चाहिए। आरटीआई अधिनियम बीसीसीआई और उसके सभी संवैधानिक सदस्य क्रिकेट संघों पर लागू करना चाहिए।' 

Open in app