मुंबई, एक फरवरी मूडीज इन्वेस्टर सर्विस ने वित्त वर्ष 2021-22 के बजट में कर और विनिवेश से ऊंचे राजस्व संग्रह के लक्ष्यों पर संशय जताया है। हालांकि, रेटिंग एजेंसी ने उम्मीद से कहीं ऊंचे राजकोषीय घाटे के आंकड़ों की वजह से सॉवरेन रेटिंग की स्थिति को लेकर कुछ नहीं कहा है।
वित्त वर्ष 2021-22 के बजट में चालू वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटा 9.5 प्रतिशत के ऊंचे स्तर पर पहुंचने का अनुमान लगाया गया है। हालांकि, आम राय यह थी कि राजकोषीय 7 प्रतिशत पर रहेगा।
अगले वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटा 6.8 प्रतिशत पर रहने का अनुमान है। सरकार ने अगले वित्त वर्ष में बाजार से 12 लाख करोड़ रुपये का कर्ज लेने का लक्ष्य रखा है। सरकार को उम्मीद है कि वह अगले वित्त वर्ष में विनिवेश से 1.75 लाख करोड़ रुपये जुटा पाएगी।
रेटिंग एजेंसी ने नोट में कहा, ‘‘वित्त वर्ष 2021-22 में 6.8 प्रतिशत का राजकोषीय घाटे का लक्ष्य वृद्धि को समर्थन तथा राजकोषीय घाटे में कुछ कमी लाने के बीच संतुलन बैठाने का प्रयास है। हालांकि, कर अनुपालन में सुधार और मौद्रिकरण के लक्ष्य को हासिल करना मुश्किल होगा।
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