अयाज मेमन का कॉलम: सिडनी की जीत टीम इंडिया के लिए करेगी टॉनिक का काम
By अयाज मेमन | Published: November 27, 2018 11:26 AM2018-11-27T11:26:41+5:302018-11-27T11:41:30+5:30
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टी20 सीरीज में 1-1 की बराबरी के बाद टेस्ट सीरीज में क्यो होगी टीम इंडिया की चुनौतियां? जानिए क्या है क्रिकेट एक्सपर्ट अयाज मेमन की राय....
आखिरकार भारत ने ऑस्ट्रेलिया के साथ टी-20 सीरीज 1-1 से ड्रॉ खेली। सिडनी मैच में भारतीय टीम पर दबाव था, क्योंकि पहला टी-20 वह गंवा चुकी थी। मेलबोर्न टी-20 वर्षा की भेंट चढ़ गया। लिहाजा सीरीज हार से बचने के लिए तीसरा मैच जीतना अनिवार्य था। सिडनी में भारत ने न केवल सीरीज बचाई, बल्कि टेस्ट सीरीज से पूर्व लय भी हासिल कर ली। इससे टीम को सकारात्मक सोच के साथ उतरने में मदद मिलेगी।
यह सच है कि टी-20 के अनेक खिलाड़ी टेस्ट में नजर नहीं आएंगे। जैसे कि क्रुणाल पंड्या, शिखर धवन। इन दोनों निर्णायक टी-20 में अहम योगदान दिया। टेस्ट में टीम का हिस्सा रहने वाले जसप्रीत बुमराह, कुलदीप यादव और स्वयं विराट कोहली ने भी टी-20 में अच्छा का प्रदर्शन किया। हालांकि बुमराह ज्यादा विकेट नहीं झटक पाए, लेकिन उनकी लय गजब की थी। कुलदीप सबसे सफल गेंदबाज रहे। लिहाजा, टेस्ट सीरीज में रविचंद्रन अश्विन और रविंद्र जडेजा के साथ उनकी स्पर्धा देखने लायक रहेगी।
कोहली ने भी ऑस्ट्रेलिया की स्थितियों के साथ जल्द ही तालमेल बना लिया। सिडनी मैच में उनकी बल्लेबाजी लाजवाब रही। टेस्ट टीम में शामिल लोकेश राहुल, ऋषभ पंत के प्रदर्शन को लेकर कुछ सवाल जरूर खड़ हो गए हैं। लिहाजा, टीम के लिए कुछ अच्छी बातों के साथ-साथ कुछ बातें चिंताजनक भी हैं। पहले टेस्ट से पूर्व चार दिवसीय अभ्यास मैच भी खेला जाना है। इस मैच से खामियों को दूर करने में मदद मिलेगी।
मददगार साबित होगा स्मिथ-वॉर्नर का साथ
दूसरी ओर ऑस्ट्रेलिया टीम को स्टीव स्मिथ-डेविड वार्नर से मार्गदर्शन मिलने जा रहा है। हालांकि ऑस्ट्रेलिया टीम को इन दोनों की सख्त जरूरत थी, लेकिन मैदान से बाहर रहकर ही टीम को सहयोग करना होगा। इन दोनों के बैन को खत्म करने का भी प्रयास किया गया, लेकिन ऐसा संभव नहीं हो पाया। इन दोनों का मार्गदर्शन टीम के युवा खिलाड़ियों को मददगार साबित होगा।
केएल राहुल-पृथ्वी शॉ की जोड़ी को करना चाहिए आगाज
रोहित शर्मा की टीम में वापसी हो सकती है, लेकिन पहला टेस्ट जरा कठिन ही लग रहा है। मेरे हिसाब से पहले टेस्ट में राहुल-पृथ्वी शॉ जोड़ी से आगाज किया जा सकता है। साथ ही अजिंक्य रहाणे भी टीम का हिस्सा हो सकते हैं। यदि टीम प्रबंधन चार गेंदबाजों के साथ टीम उतारते हैं तो रोहित को मौका मिल सकता है। पिछले एक-डेढ़ साल से भारतीय टीम पांच गेंदबाजों के साथ खेल रही है।
टीम इंडिया को बल्लेबाजी में करना होगा सुधार
आगामी टेस्ट सीरीज में भारत के जीत की उम्मीद की जा रही है। ऑस्ट्रेलिया में मेजबान टीम को हराने का इतना अच्छा मौका शायद बाद में मिलना कठिन है। भारतीय गेंदबाजी मजबूत है, लेकिन बल्लेबाजी में विराट कोहली को छोड़कर टीम के अन्य बल्लेबाजों को मौकों को भुनाना होगा। चूंकि ऑस्ट्रेलिया को अपनी साख बचाने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगाना होगा, लिहाजा सीरीज में रोमांच उफान पर होगा।