पितृ पक्ष, पितृ दोष से मुक्ति प्राप्त करने का सर्वोत्तम समय होता है। इस पक्ष में सही समय पर श्रद्धा भाव से किया गया श्राद्ध कर्म व्यक्ति के जीवन मे खुशियों का अंबार ला सकता है। शास्त्रानुसार प्रत्येक सनातन धर्मी को इस पक्ष में प्रतिदिन मध्यान्ह व्यापिनी तिथि को ध्यान में रखते हुए अपने पूर्वजों की संतुष्टि के लिए श्राद्ध एवं तर्पण अवश्य करना चाहिए। पृथ्वी लोक में माता पिता एवं पितृ साक्षात देवता है अतः उनकी आत्मा की शांति के लिए आश्विन कृष्ण पक्ष में श्रद्धा विश्वास एवं उत्साह के साथ मनाना चाहिए। Read More
Rohtas Road Accident: बिहार के रोहतास जिले में सोमवार सुबह एक तेज रफ्तार बस के एक खड़े ट्रक में पीछे से टकरा जाने से तीन लोगों की मौत हो गई और 15 अन्य घायल हो गए। ...
Mahalaya Amavasya 2024: पितृ पक्ष में तिथि अनुसार, पितरों के निमित्त तर्पण और श्राद्ध कर्म किए जाते हैं। किंतु जब हमें अपने दिवंगत पूर्वजों की तिथि ज्ञात नहीं होती है। उस स्थिति में सर्व पितृ अमावस्या के दिन ही उनका श्राद्ध कर्म किया जाता है, जिससे प ...
हिंदू धर्म में किसी भी अवसर पर, विशेष रूप से इस तरह के महत्वपूर्ण व्रतों पर, चार-मुखी दीया जलाना एक श्रद्धेय अनुष्ठान है जो आध्यात्मिक विकास और ज्ञान का प्रतीक है। ...
Ekadashi Shradh 2024: एकादशी श्राद्ध करके परिवार अपने प्रियजनों के प्रति कृतज्ञता, श्रद्धा और सम्मान व्यक्त करते हैं, जिससे उनकी परलोक की शांतिपूर्ण यात्रा सुनिश्चित होती है। ...
Indira Ekadashi 2024 Vrat Upay: हर साल यह व्रत पितृ पक्ष में रखा जाता है, इसलिए इस व्रत को पितरों के लिए विशेष माना जाता है। धार्मिक मान्यता है कि जो लोग अपने पितरों के लिए तर्पण, पिंडदान, श्राद्ध आदि करते हैं, उनको इंदिरा एकादशी का व्रत जरूर रखना च ...
Shradh 2024: पितृ पक्ष के दौरान कुछ चीजों का दान करना अत्यधिक फायदेमंद होता है क्योंकि ऐसा माना जाता है कि इससे पूर्वजों की आत्मा को शांति मिलती है। आइए उन 5 चीजों की सूची देखें जिन्हें आपको श्राद्ध के दौरान दान करना चाहिए। ...
ऐसी वस्तुओं का उपयोग उनके संचित कर्मों को स्थानांतरित कर सकता है, संभावित रूप से अवांछित ऊर्जा को आकर्षित कर सकता है और किसी के स्वयं के आध्यात्मिक विकास को नकार सकता है। इसके अलावा यह माना जाता है कि मृत व्यक्ति का सांसारिक संपत्तियों के प्रति लगाव ...