बिहार के राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर ने गया जी में अपने पितरों के मोक्ष के लिए किया पिंडदान
By एस पी सिन्हा | Updated: October 7, 2023 16:01 IST2023-10-07T15:59:48+5:302023-10-07T16:01:11+5:30
बिहार के राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर शनिवार को गया पहुंचे, जहां उन्होंने विष्णुपद मंदिर में पितरों के मोक्ष के लिए पिंडदान किया। पितृपक्ष 29 सितंबर शुक्रवार से शुरु हो चुका है। यह 14 अक्टूबर को समाप्त होगा।

बिहार के राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर शनिवार को गया पहुंचे
पटना: बिहार के राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर शनिवार को गया पहुंचे, जहां उन्होंने विष्णुपद मंदिर में पितरों के मोक्ष के लिए पिंडदान किया। राज्यपाल ने विष्णुपद मंदिर में स्थित सोलह वेदी के पास अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति को लेकर पिंडदान कर्मकांड किया।
इस मौके पर पुरोहित बच्चू लाल चौधरी ने कहा कि राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर दूसरी बार पिंडदान करने गया जी पहुंचे हैं। उन्होंने अपने माता-पिता, चाचा-चाची, सास-ससुर सहित अन्य पितरों की मोक्ष की कामना को लेकर पिंडदान किया। पूरे धार्मिक विधि-विधान के साथ पिंडदान कर्मकांड की प्रक्रिया को संपन्न कराया गया। पितरों की आत्मा को शांति मिले व परिजनों का जीवन सुखमय हो, इसी कामना के साथ पिंडदान कराया गया है।
उन्होंने अपने पितरों के लिए पिंडदान किया और फल्गु तर्पण, विष्णु चरण और अक्षयवट का विधान कर पितरों के विष्णु लोक की कामना की। पिंडदान करने के बाद राज्यपाल विष्णुपद मंदिर के कार्यालय भी गए, जहां विष्णुपद प्रबंधकारिणी समिति की ओर से उनका स्वागत किया गया। राज्यपाल करीब एक घंटे तक विष्णुपद मंदिर में रुके, इसके बाद वे पटना के लिए रवाना हो गए।
दरअसल, हिंदू धर्म में पितृपक्ष के दौरान पूर्वजों के लिए पिंडदान और तर्पण का विशेष महत्व है। बड़ी संख्या में देशभर से लोग पितृपक्ष के दौरान गया पहुंचते हैं और अपने पितरों के मोक्ष के लिए विष्णुपद मंदिर में पिंडदान और फल्गु नदी में तर्पण करते हैं।
बता दें कि पितृपक्ष 29 सितंबर शुक्रवार से शुरु हो चुका है। यह 14 अक्टूबर को समाप्त होगा। इन दिनों में पितरों का श्राद्ध और तर्पण किया जाता है।