संयुक्त राष्ट्र महासभा के अध्यक्ष ने माना- सुरक्षा परिषद में सुधार की प्रक्रिया धीमी, भारत लंबे समय से कर रहा है सुधार की मांग

By भाषा | Published: July 7, 2020 08:07 PM2020-07-07T20:07:49+5:302020-07-07T20:08:25+5:30

भारत सुरक्षा परिषद में सुधार की मांग की वर्षों से कोशिश कर रहा है और उसका कहना है कि वह स्थायी सदस्य का हकदार है और मौजूदा ढांचा 21 वीं सदी की भू राजनीतिक वास्तविकताओं को प्रतिबिंबित नहीं करता।

UN General Assembly President admitted- Process of reform of Security Council is slow, India has been seeking Security Council reform for a long time | संयुक्त राष्ट्र महासभा के अध्यक्ष ने माना- सुरक्षा परिषद में सुधार की प्रक्रिया धीमी, भारत लंबे समय से कर रहा है सुधार की मांग

संयुक्त राष्ट्र महासभा के झंडे की तस्वीर (File Photo)

Highlightsमुहम्मद बांदे ने एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘ मेरा मानना है कि प्रगति की गति धीमी है क्योंकि यह प्रक्रिया स्वयं में आसान नहीं है।वर्ष 1945 में स्थापना के समय जो बहुत मजबूत स्थिति को धारण करते थे उन्हें अब के समय में अधिकारों के बंटवारे पर सहमत होना है।तिज्जानी मोहम्मद बांदे ने कहा कि कोरोना संक्रमण की वजह से इस साल काम की गति धीमी पड़ गई है।

संयुक्त राष्ट्रसंयुक्त राष्ट्र महासभा के अध्यक्ष तिज्जानी मोहम्मद बांदे ने कहा कि सुरक्षा परिषद में सुधार की प्रक्रिया धीमी है क्योंकि बहुत मजबूत स्थित रखने वाले देशों को अब भी अधिकारों के बंटवारे को लेकर सहमत होना बाकी है और कोविड-19 महामारी की वजह से सुधार की यह गति और धीमी हुई है।

उल्लेखनीय है कि गत कई दशक से सुरक्षा परिषद में सुधार की जरूरत महसूस की जा रही है क्योंकि संयुक्त राष्ट्र की सबसे ताकतवार इकाई में वर्ष 1945 में हुई स्थापना के बाद से ही कोई बदलाव नहीं हुआ है।

भारत सुरक्षा परिषद में सुधार की मांग की वर्षों से कोशिश कर रहा है और उसका कहना है कि वह स्थायी सदस्य का हकदार है और मौजूदा ढांचा 21 वीं सदी की भू राजनीतिक वास्तविकताओं को प्रतिबिंबित नहीं करता।

मुहम्मद बांदे ने ‘ पीटीआई-भाषा’ को दिए साक्षात्कार में कहा, ‘‘ मेरा मानना है कि प्रगति की गति धीमी है क्योंकि यह प्रक्रिया स्वयं में आसान नहीं है। वर्ष 1945 में स्थापना के समय जो बहुत मजबूत स्थित को धारण करते हैं उन्हें अभी भी अधिकारों के बंटवारे पर सहमत होना है और ऐसा लगता है कि यह वह मुद्दा है जो वे करना नहीं चाहते हैं हालांकि सभी यह कहते हैं कि चलों सुधार करें। अत: इस मामले में यह बहुत कठिन है।’’

सुरक्षा परिषद में सुधार की प्रक्रिया धीमी है, लेकिन कई काम भी हुए हैं-

उन्होंने कहा कि नयी तरह के भी कई विभाजन है जिससे यह और मुश्किल हो गया लेकिन प्रगति धीमी है, इसका मतलब यह नहीं है कि कोई प्रगति नहीं हुई है। संयुक्त राष्ट्र महासभा अध्यक्ष ने यह बात सुरक्षा परिषद में सुधार की धीमी प्रक्रिया को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में कही।

उन्होंने कहा कि महासभा के 74वें सत्र में समूहों के संदर्भ में कुछ गतिविधि हुई है। उन्होंने कहा, हालांकि, कोविड-19 महामारी की वजह से संयुक्त राष्ट्र का अधिकतर कार्य डिजिटल मंच पर चला गया है। पिछले हफ्ते दिए साक्षात्कार में मुहम्मद बांदे ने कहा, ‘‘ अब जिन मुद्दों पर बातचीत होती है वह कुछ कठिन प्रतीत होती है और वे और चीचें सुगम नही होतीं जब ऑनलाइन बातचीत होती है।

समान सहमति के आधार पर जिस तरह की बातचीत हम करते हैं वह ऑनलाइन बैठकों से आगे नहीं बढ़ सकती है। इसलिए इस साल काम की गति धीमी पड़ गई है।’’ मुहम्मद बांदे ने कहा कि 75वें सत्र के लिए महासभा के अध्यक्ष वोल्कन बोजिर ‘ प्रतिबद्ध’ हैं और सदस्य देश संयुक्त राष्ट्र में सुधार को लेकर बहुत इच्छुक हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘ यह ऐसा कुछ नहीं है जिसका समाधान एक साल में कर लिया जाए, लेकिन मैं आपकों कह सकता हूं कि पिछली कोशिशों के आधार पर मौजूदा कोशिश हो रही है, मेरा मानना है कि कुछ प्रगति हुई है, परंतु दुर्भाग्य से कोविड-19 की वजह से उत्पन्न स्थिति हमें आगे प्रगति करने की अनुमति नहीं दे रहा है।

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सुधार पर चर्चा के लिए हो रही बातचीत को फिलहाल रोका गया-

गौरतलब है कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सुधार पर चर्चा के लिए गठित अंतर सरकारी बातचीत (आईजीएन)की बैठक मई में अगली सूचना तक के लिए स्थगित कर दी गई। संयुक्त राष्ट्र के मुख्यालय में कोविड-19 की वजह से आमने-सामने की बैठकें स्थगित कर दी गई है जो लंबे समय से लंबित सुधार के झटका है।

उल्लेखनीय है कि आईजीएन की सह अध्यक्ष और संयुक्त राष्ट्र में संयुक्त अरब अमीरात की स्थायी प्रतिनिधि एवं राजदूत लाना नूसिबेह और संयुक्त राष्ट्र में पोलैंड के राजदूत जोआना व्रोनेका ने मुहम्मद बांदे को पत्र लिखकर कहा कि सदस्य देश आमने-सामने बैठकर बात करना चाहते हैं।

मुहम्मद बांदे ने कहा, ‘‘ इसके प्रकाश में हमने अन्य विकल्पों पर विचार किया और अगली सूचना तक बैठक को स्थगित करने का फैसला किया। 

Web Title: UN General Assembly President admitted- Process of reform of Security Council is slow, India has been seeking Security Council reform for a long time

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