Som Pradosh Vrat: भगवान शिव पर चढ़ाएं इस रंग का फूल, खुशियों से भर जाएगी आपकी तिजोरी-पैसों की भी नहीं होगी तंगी

By मेघना वर्मा | Published: December 9, 2019 08:32 AM2019-12-09T08:32:59+5:302019-12-09T08:32:59+5:30

प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा की जाती है। सिर्फ यही नहीं मान्यता है कि अगर जातक इस दिन उपवास करते हैं तो इसका फल उन्हें अवश्य मिलता है।

Som Pradosh Vrat: know the date, puja time, shubh muhurat, vrat puja vidhi muhurat and significance in hindi | Som Pradosh Vrat: भगवान शिव पर चढ़ाएं इस रंग का फूल, खुशियों से भर जाएगी आपकी तिजोरी-पैसों की भी नहीं होगी तंगी

Som Pradosh Vrat: भगवान शिव पर चढ़ाएं इस रंग का फूल, खुशियों से भर जाएगी आपकी तिजोरी-पैसों की भी नहीं होगी तंगी

Highlightsसोम प्रदोष की अपनी अलग ही मान्यता होती है। इस दिन विशेष तरह की पूजा करके भगवान शिव की उपासना की जाती है। 

साल 2019 में का ये आखिरी सोम प्रदोष है। मार्गशीर्ष महीने के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को इस बार सोम प्रदोष पड़ रहा है। पंचाग के अनुसार हर महीने में दो प्रदोष व्रत आते हैं। वैसे तो भगवान शिव को पूजा जाने वाला सभी प्रदोष खास होता है मगर सोम प्रदोष की अपनी अलग ही मान्यता होती है। सोमवार के दिन पड़ने वाले प्रदोष को सोम प्रदोष कहा जाता है। इस दिन विशेष तरह की पूजा करके भगवान शिव की उपासना की जाती है। 

प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा की जाती है। सिर्फ यही नहीं मान्यता है कि अगर जातक इस दिन उपवास करते हैं तो इसका फल उन्हें अवश्य मिलता है। इस दिन भगवान शिव की उपासना करने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। साथ ही आपकी आर्थिक वृद्धि भी होती है। आइए आपको बताते हैं सोम प्रदोष का शुभ मुहूर्त और पूजा विधि।

सोम प्रदोष का शुभ मुहूर्त

मार्गशीर्ष मास के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 09 दिसंबर को सुबह 09 बजकर 54 मिनट से हो रही है। 10 दिसंबर को सुबह 10 बजकर 44 मिनट तक है। इस दिन पूजा का मुहूर्त शाम को 05 बजकर 25 मिनट से रात को 08 बजकर 08 मिनट तक है। इस मुहूर्त में भगवान शिव की पूजा अर्चना विशेष फलदायी होगी।

सोम प्रदोष की पूजा विधि

सोम प्रदोष के दिन सुबह उठकर स्नानादि करके व्रत का संकल्प लें। 
अगर आप ये उपवास बिना जल पीए रखेंगे तो ये काफी लाभदायक साबित होगा।
पूजा स्थान पर शंकर, पार्वती और नंदी को रखकर उनका पंचामृत व गंगाजल से स्नान कराएं।


अब उन पर बेल पत्र, गंध, चावल, फूल, धूप, दीप, भोग, फल, पान, सुपारी, लौंग, इलायची भगवान शिव को चढ़ाएं।
शाम के समय पुन: स्नान करके इसी तरह शिवजी की पूजा करें। 
शिवजी का षोडशोपचार पूजा करें, जिसमें भगवान शिव की सोलह सामग्री से पूजा करें। 
भगवान शिव को घी और शक्कर मिले जौ के सत्तू का भोग लगाएं।
आठ दीपक आठ दिशाओं में जलाएं। आठ बार दीपक रखते समय प्रणाम करें।
शिव आरती करें। शिव स्त्रोत, मंत्र जप करें। 

सफेद रंग है प्रिय

माना जाता है कि भगवान शिव को सफेद रंग काफी प्रिय है। प्रदोष के दिन अगर आप सफेद रंग का दान करते हैं तो वो बहुत फलदायी बताया जाता है। अपनी पूजा में आप सफेद फूल को जरूर शामिल करें। भगवान शिव को भांग-धतूरा के साथ सफेद फूलों की माला जरूर चढ़ाएं। सोम प्रदोष के दिन सफेद रंग के वस्त्र धारण करें।

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