शनि जयंती 3 जून को, शनि पूजा में इन 3 चीजों को चढ़ाने से मिलेगा शनि साढ़ेसाती, ढैय्या के प्रकोप से छुटकारा
By गुलनीत कौर | Published: June 2, 2019 10:11 AM2019-06-02T10:11:13+5:302019-06-02T10:49:57+5:30
3 जून को शनि जयंती है। इसी दिन सोमवती अमावस्या और वट सावित्री व्रत भी है। इसलिए यह दिन ज्योतिष शास्त्र के अनुसार काफी खास माना जा रहा है।
ज्येष्ठ माह की अमावस्या तिथि को शनि देव के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है। शास्त्रों में इसे 'शनि जयंती' के नाम से जानते हैं। इस वर्ष 3 जून 2019, दिन सोमवार को शनि जयंती का पर्व है। सोमवार के दिन अमावस्या तिथि आने से इस दिन सोमवती अमावस्या भी मनाई जाएगी। साथ ही यह दिन वट सावित्री व्रत का ही है। इस तरह से 3 जून का दिन इस बार हिन्दुओं के लिए बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
शनि जयंती तिथि, महत्व (Shani Jayanti 2019 Date, time, significance, vrat, puja)
कर्मफल दाता शनि देव के जन्मोत्सव को शनि जयंती के नाम से जाना जाता है। 3 जून को मनाई जाने वाली शनि जयंती पर लोग शनि देव को प्रसन्न करने के उपाय करते हैं। इस दिन अमावस्या होने से व्रत भी किया जाता है। शनि मंदिरों में भारी भीड़ देखने को मिलती है। जिन लोगों की कुंडली में शनि संबंधी दोष चल रहा हो उन्हें इस दिन व्रत, पूजा-पाठ, शास्त्रीय उपाय आदि अवश्य ही करने चाहिए। ऐसा करने से शनिदेव प्रसन्न होते हैं और कुंडली में शनि दोषों को शांत करते हैं।
शनि देव को प्रसन्न करने के लिए अर्पित करें ये चीजें:
1) तेल: शनि जयंती, शनि अमावस्या या हर शनिवार की सुबह एक कटोरी में सरसों का तेल डालें। इस तेल में सुबह अपना चेहरा देखें। शाम सूरज ढलने पर यह तेल शनि की मूर्ति पर डालें
2) नीले फूल: पूजा के दौरान या फिर शनि मंदिर जाकर शनि देव को नीले फूल अर्पित करें। नीले फूलों का पूजा में इस्तेमाल करने से शनि देव शीघ्र प्रसन्न होते हैं
3) जल: तांबे के लोटे में सुबह जल भरकर रख दें। शाम को सूरज ढलने पर इस जल को पीपल के पेड़ की जड़ों में अर्पित कर दें। हिन्दू मन्यातानुसार पीपल में शनि देव का वास होता है। इसलिए इसकी पूजा या जल अर्पित करने से शनि देव प्रसन्न होते हैं