Mahakumbh 2025: प्रयागराज में जापान से आएगा 150 लोगों का जत्था, महाकुंभ में करेंगे पवित्र स्नान

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: January 19, 2025 10:17 AM2025-01-19T10:17:14+5:302025-01-19T10:18:42+5:30

उस दौरान जापान में भारत से पहुंचे एक योगी को समाधि लेते देख वह बेहद प्रभावित हुईं

Mahakumbh 2025 group of 150 people from Japan will come to Mahakumbh and take bath in Ganga | Mahakumbh 2025: प्रयागराज में जापान से आएगा 150 लोगों का जत्था, महाकुंभ में करेंगे पवित्र स्नान

Mahakumbh 2025: प्रयागराज में जापान से आएगा 150 लोगों का जत्था, महाकुंभ में करेंगे पवित्र स्नान

Mahakumbh 2025: जापान से महामंडलेश्वर योग माता कैलादेवी (पूर्व नाम कैको आइकावा) के करीब 150 जापानी शिष्य 26 जनवरी को महाकुम्भ में आकर गंगा में डुबकी लगाएंगे। जापान मूल की कैको आइकावा को कैलादेवी नाम जूना अखाड़ा ने दिया था और वह ब्रह्मलीन पायलट बाबा की गुरु बहन हैं।

जूना अखाड़ा के महामंडलेश्वर शैलेशानंद गिरि महाराज ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ‘‘जापान से करीब 150 लोगों का प्रतिनिधिमंडल महाकुम्भ में स्नान और माता जी के सानिध्य में योग साधना करने के लिए 26 जनवरी को पायलट बाबा शिविर में पहुंचेगा।’’

उन्होंने बताया कि जापानी प्रतिनिधियों के लिए शिविर में विशेष भोजनशाला तैयार की जा रही है जहां पूर्ण शाकाहार वैदिक भोजन तैयार किया जाएगा। भोजन, जापान के लोगों के निर्देशन में यहीं के लोग तैयार करेंगे। शैलेशानंद गिरि ने बताया, ‘‘योग माता 24 जनवरी को जापान से इस शिविर में पहुंच जाएंगी और कितने लोगों को वह दीक्षा देंगी, इस पर वह स्वयं निर्णय करेंगी। चूंकि इस महाकुम्भ में बाबा जी स्थूल रूप से उपस्थित ना होकर सूक्ष्म रूप से उपस्थित हैं, इसलिए इस बार शिविर में श्रद्धांजलि का माहौल है।’’

उन्होंने बताया कि शिविर में शिवशक्ति यज्ञशाला का निर्माण किया जा रहा है जिसमें 25 से 30 देशों के लोग विश्व शांति के लिए आहुति देंगे। उन्होंने बताया कि बाबा जी के ज्यादातर शिष्य रूस और यूक्रेन के हैं जो इस यज्ञ में आहुति देंगे। शैलेशानंद गिरि ने बताया कि इसी तरह, जापान, कोरिया, इंडोनेशिया और बाली के लोग भी आहुति देंगे।

उन्होंने कहा, ‘‘बाह्य जगत में हम देखते हैं कि युद्ध का माहौल है, लेकिन वास्तविक जीवन में जननी जन्मभूमि की परिकल्पना में लोगों को आप यहां (इस शिविर में) मैत्री भाव में देखेंगे। बाबा जी द्वारा दिए गए प्रेम, विश्वास और शांति के त्रिगुणात्मक सूत्र को हम यहां क्रियान्वित होते देखेंगे।’’

योग माता के बारे में उन्होंने बताया, ‘‘कैको आइकावा पहले से ही सफल महिला रही हैं और जापान में उनके 50 से अधिक योग केंद्र चलते थे। सत्तर के दशक में उन्होंने भारत की कई बार यात्राएं कीं। उस दौरान जापान में भारत से पहुंचे एक योगी को समाधि लेते देख वह बेहद प्रभावित हुईं और बाबा जी से उनके संपर्क बढ़े और बाबा जी के गुरु हरि बाबा से उन्होंने दीक्षा और उनसे समाधि लेनी सीखी।’’

Web Title: Mahakumbh 2025 group of 150 people from Japan will come to Mahakumbh and take bath in Ganga

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