महाभारत की कथा: भगवान कृष्ण ने क्या सच में कराई थी दुर्योधन की बेटी से अपने बेटे की शादी? क्या है कथा, जानिए

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: September 4, 2019 12:03 PM2019-09-04T12:03:26+5:302019-09-04T12:20:25+5:30

महाभारत के युद्ध में श्रीकृष्ण के पांडव के साथ थे। दुर्योधन भी इस बात को जानता था कि श्रीकृष्ण कभी उसका साथ नहीं देंगे। इसके बावजूद उसे अपनी बेटी के कृष्ण के बेटे के साथ विवाह के लिए तैयार होना पड़ा।

Mahabharat story in hindi Shri Krishna's son married to Duryodhana daughter Lakshmana | महाभारत की कथा: भगवान कृष्ण ने क्या सच में कराई थी दुर्योधन की बेटी से अपने बेटे की शादी? क्या है कथा, जानिए

दुर्योधन की बेटी की शादी कृष्ण के पुत्र से हुई थी!

महाभारत काल से जुड़ी कई ऐसी कथाएं हैं जो जनमानस में बहुत प्रचलित नहीं हैं और बहुत कम लोगों को ही इसकी जानकारी है। इसमें से ही एक है भगवान कृष्ण के बेटे और दुर्योधन की बेटी के बीच शादी की बात, जिसके कारण तब हस्तिनापुर में कोहराम मच गया था। हालांकि, बाद में श्रीकृष्ण और बलराम के हस्तक्षेप से यह विवाद खत्म हो सका।

कृष्ण के पुत्र और दुर्योधन की पुत्री की शादी

भगवान कृष्ण की 8 पत्नियां थी। इनमें से एक जाम्बवती थीं। जाम्बवती और कृष्ण के पुत्र का ही नाम सांब था। कथा के अनुसार सांब दरअसल दुर्योधन और भानुमति की पुत्री लक्ष्मणा से प्रेम करता था। लक्ष्मणा भी सांब से प्रेम करने लगी थी। दुर्योधन को जब इस बारे में पता चला तो वह इस रिश्ते के खिलाफ हो गया। दुर्योधन ऐसे भी श्रीकृष्ण को पसंद नहीं करता था क्योंकि वे पांडव के पक्ष में थे। श्रीकृष्ण भी दुर्योधन को धर्म और शांति के रास्ते में सबसे बड़ा अवरोध मानते थे।

इसके बावजूद श्रीकृष्ण ने अपने पुत्र के दुर्योधन के साथ विवाह में बड़ी भूमिका निभाई। दरअसल, दुर्योधन ने अपनी पुत्री लक्ष्मणा के लिए स्वयंवर आयोजन किया लेकिन उसने यादवों को इसमें आने का आमंत्रण नहीं दिया। सांब को जब इस बारे में पता चला तो वह स्वयंवर से पहले ही हस्तिनापुर पहुंच गये और लक्ष्मणा को हर लिया। वह लक्ष्मणा को अपने रथ में बैठाकर द्वारका ले जाने लगे। कौरवों को जब यह बात पता चली तो वे अपनी पूरी सेना के साथ सांब के पीछे युद्ध के लिए चल पड़े।

सांब और कौरवों के बीच युद्ध हुआ। कौरव इसमें विजयी रहे और उन्होंने सांब को बंधक बना लिया। बलराम को जब इस बारे में पता चला तो वे हस्तिनापुर पहुंचे और दुर्योधन को काफी समझाने की कोशिश की। दुर्योधन वैसे भी बलराम का शिष्य था। इसके बावजूद उसने कोई भी बात मामने से इनकार कर दिया। ऐसे में बलराम बहुत क्रोधित हो गये और अपना रौद्र रूप प्रकट किया। वे इतने क्रोध में थे कि अपने हल से ही पूरे हस्तिनापुर को खींच कर गंगा में डूबाने के लिए चल पड़े।

यह दख सभी भयभीत हो गये। इतने में श्रीकृष्ण भी वहां पहुंचे और दुर्योधन और कौरवों को समझाते हुए कहा कि आपसी लड़ाई का असर बच्चों के प्रेम पर नहीं पड़ना चाहिए। काफी कोशिशों के बाद दुर्योधन आखिरकार मान गया और सांब से अपने बेटी की शादी के लिए तैयार हो गया।

English summary :
Mahabharat story in hindi: There are many such stories related to Mahabharata time which very few people knows. One of the story is the talk of marriage between Lord Krishna's son and Duryodhana's daughter, due to which there was chaos in Hastinapur.


Web Title: Mahabharat story in hindi Shri Krishna's son married to Duryodhana daughter Lakshmana

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