कार्तिक पूर्णिमा के दिन इस शुभ मुहूर्त में करें गंगा स्नान, जानें इस तिथि का धार्मिक महत्व

By रुस्तम राणा | Published: November 5, 2022 02:13 PM2022-11-05T14:13:02+5:302022-11-05T14:13:02+5:30

कार्तिक पूर्णिमा के दिन तुलसी के समीप और तालाब, सरोवर या गंगा तट पर दीप जलाने से या दीप दान करने से मां लक्ष्मी प्रसन्न होकर सुख समृद्धि का वरदान देती हैं।

Kartik Purnima 2022 Date shubh muhurat and religous significance | कार्तिक पूर्णिमा के दिन इस शुभ मुहूर्त में करें गंगा स्नान, जानें इस तिथि का धार्मिक महत्व

कार्तिक पूर्णिमा के दिन इस शुभ मुहूर्त में करें गंगा स्नान, जानें इस तिथि का धार्मिक महत्व

Kartik Purnima 2022 Date: कार्तिक पूर्णिमा तिथि इस साल मंगलवार, 8 नवंबर को पड़ेगी। हिन्दू धर्म में कार्तिक पूर्णिमा तिथि का विशेष महत्व है। इस दिन गंगा स्नान, दीपदान और भगवान की आराधना का विधान है। मान्यता है कि इस दिन गंगा स्नान करने से समस्त प्रकार से रोग-दोष और पापों से छुटकारा मिलता है। कार्तिक पूर्णिमा के दिन काशी में देव दिवाली मनाई जाती है।

कार्तिक पूर्णिमा का शुभ मुहूर्त

पूर्णिमा तिथि प्रारंभ:  सोमवार, 07 नवंबर 2022 को शाम 04 बजकर 15 मिनट से 
पूर्णिमा तिथि समाप्त: मंगलवार, 08 नवंबर 2022 को शाम 04 बजकर 31 मिनट पर

इस विधि से करें गंगा स्नान

कार्तिक पूर्णिमा के दिन सूर्योदय से पहले उठकर पवित्र नदी में स्नान करना चाहिए। अगर संभव ना हो तो घर में ही नहाने के पानी में गंगाजल मिलाकर स्नान किया जा सकता है। इसके बाद देवी तुलसी का पौधा और भगवान विष्णु की अर्चना करें।

इस अवसर पर ऐसे पाएं लाभ

कार्तिक पूर्णिमा के दिन तुलसी के समीप और तालाब, सरोवर या गंगा तट पर दीप जलाने से या दीप दान करने से मां लक्ष्मी प्रसन्न होकर सुख समृद्धि का वरदान देती हैं। वहीं विष्णु जी को तुलसी पत्र की माला और गुलाब का फूल चढ़ाने से हर मनोकामना पूरी होती हैं। शुभ और मांगलिक कार्यों की शुरुआत के लिए भी कार्तिक पूर्णिमा का दिन बेहद अच्‍छा माना जाता है।

पौराणिक महत्व

हिन्दू धर्म के अनुसार त्रिपुरासुर ने देवताओं को पराजित कर उनके राज्‍य छीन लिए थे। भगवान शिव ने इसी दिन त्रिपुरासुर का वध किया था। इसीलिए इसे त्रिपुरी पूर्णिमा या त्रिपुरारी पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है। उसकी मृत्‍यु के बाद देवताओं में उल्लास था। इसलिए इस दिन को देव दिवाली कहा गया। देवताओं ने स्‍वर्ग में दीये जलाए थे।  मान्यता है कि कार्तिक मास में भगवान विष्णु ने मत्स्य अवतार लिया था।

Web Title: Kartik Purnima 2022 Date shubh muhurat and religous significance

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