अपने बच्चों के साथ उनके दोस्तों पर भी रखें नजर, जरूर गौर करें ये 3 चीजें!

By मेघना वर्मा | Published: February 29, 2020 07:21 AM2020-02-29T07:21:40+5:302020-02-29T07:21:40+5:30

बच्चे जिस उम्र के पड़ाव में हैं उस हिसाब से भी उनकी परवरिश करनी जरूरी है। जब बच्चे बड़े हो रहे होते हैं तो जरूरी है उन्हें सही-गलत चीज और सही-गलत लोगों में फर्क सिखाएं।

teaching your child how to make friends | अपने बच्चों के साथ उनके दोस्तों पर भी रखें नजर, जरूर गौर करें ये 3 चीजें!

अपने बच्चों के साथ उनके दोस्तों पर भी रखें नजर, जरूर गौर करें ये 3 चीजें!

Highlightsबच्चों को समझाने के लिए जरूरी है कि आप उनकी भाषा में उन्हें समझाएं। इस बात को समझना जरूरी है कि आप अपने बच्चे के सामने उनके दोस्त की बुराई ना करें।

किसी कपल के लिए वो समय और भी इमोशनल हो जाता है जब वो मां-बाप बनते हैं। पहली बार मां बनने का एहसास या पहली बार पिता बनने का एहसास हर किसी के लिए स्पेशल होता है। बच्चे के पैदा होने से लेकर उसकी परवरिश तक सभी चीजों का लोग ख्याल रखते हैं। इसी परवरिश में ये जरूरी है कि बच्चे के आस-पास की चीजों को भी पैरेंट्स को ध्यान में रखना चाहिए।

बच्चे जिस उम्र के पड़ाव में हैं उस हिसाब से भी उनकी परवरिश करनी जरूरी है। जब बच्चे बड़े हो रहे होते हैं तो जरूरी है उन्हें सही-गलत चीज और सही-गलत लोगों में फर्क सिखाएं। ये मां-पिता की ही जिम्मेदारी होती है कि उन्हें बताएं कि सही क्या है और गलत क्या। हर घर का अलग अपना माहौल होता है जहां से निकलकर बच्चे अपनी नई दुनिया में कदम रखते हैं। 

बच्चें किससे मिलते हैं उनकी दोस्ती कैसे बच्चों के साथ हैं या उन बच्चों में कैसी आदतें हैं इस चीज को भी मां-पिता को ध्यान में रखना चाहिए। आइए आपको बताते हैं कि किस तरह मां-बाप को अपने बच्चों के साथ उनके दोस्तों पर भी ध्यान देना जरूरी है।

1. फ्रेंडशिप की क्वालिटी समझाइए

दोस्ती का मतलब बच्चों को आप ही समझाएंगे। जिस वक्त बच्चे बड़े हो रहे होते हैं उस वक्त उन्हें फ्रेंडशिप का सही मतलब समझाना आपकी जिम्मेदारी है। बच्चों को ये समझाना होगा कि दोस्ती क्या होती है। दोस्ती का असली मतलब क्या होता है। ऐसा ना हो कि आपके बच्चे को सामने वाला उनका दोस्त बेवकूफ बना रहा हो। इसलिए उन्हें थोड़ी दोस्ती के साथ इस बात की भी समझ होनी जरूरी है कि क्या सही है और क्या गलत।

2. अननेसिसिरी इमोशन में ना बहें

बच्चों को समझाने के लिए जरूरी है कि आप उनकी भाषा में उन्हें समझाएं। उन्हें ना ज्यादा इमोशनल होकर समझाएं ना ज्यादा डांट कर। आप उनसे उन्हीं की भाषा में बात करेंगे तो वो ज्यादा समझेंगे। उनके साथ ज्यादा इमोशनल होकर आप उन्हें कुछ देर के लिए तो मना लेंगे लेकिन कुछ दिनों बाद आपको ही इसका नुकसान भुगतना पड़ेगा।

3. दोस्त की बुराई ना करें बल्कि प्यार से समझाएं

इस बात को समझना जरूरी है कि आप अपने बच्चे के सामने उनके दोस्त की बुराई ना करें। जब बच्चे बड़े हो रहे होते हैं तो उनके दिमाग में बहुत सारे सवाल पनपते हैं। उन सवालों के जवाब वो आपकी ही बातों में ढूंढने लगते हैं। इसलिए उनसे बात करते समय खास ध्यान रखें कि उनके दोस्तों की बिना वजह बुराई ना करें। बल्कि अपने बच्चे को प्यार से समझाएं।

Web Title: teaching your child how to make friends

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