सीएम अशोक गहलोत और सचिन पायलट सब कुछ ठीक नहीं, हाथ तो मिले, दिल अभी तक...
By शीलेष शर्मा | Published: February 20, 2021 06:33 PM2021-02-20T18:33:03+5:302021-02-20T18:34:31+5:30
सचिन पायलट उप मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष का पद खोने के बाद जहाँ अपना जनाधार मज़बूत करने में जुट गये हैं तो दूसरी तरफ मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की कोशिश है कि सचिन को राजस्थान की राजनीति से दूर रखा जाये।
नई दिल्लीः कांग्रेस आलाकमान की तमाम कोशिशों के बावजूद राजस्थानकांग्रेस में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है।
उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार पार्टी के युवा नेता सचिन पायलट उप मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष का पद खोने के बाद जहाँ अपना जनाधार मज़बूत करने में जुट गये हैं तो दूसरी तरफ मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की कोशिश है कि सचिन को राजस्थान की राजनीति से दूर रखा जाये।
इसी कोशिश के तहत सचिन की किसान महा पंचायतों में मुख्यमंत्री गहलोत समर्थकों की शिरकत पर अघोषित रोक लगा दी गयी है। पार्टी के प्रभारी अजय माकन ने पूरे मामले पर मौन साध रखा है। सचिन समर्थक एक विधायक ने आरोप लगाया कि माकन मुख्यमंत्री गहलोत से मिले हुये हैं तथा इसी मिली भगत के कारण माकन पार्टी नेतृत्व को राज्य की सही तस्वीर पेश नहीं कर रहे हैं ,इतना ही नहीं वह तथ्यों को छुपाने का काम भी कर रहे हैं।
सचिन इस पूरे मामले पर कोई टिप्पणी करने को तैयार नहीं हैं ,उनका सीधा उत्तर था कि वह नेतृत्व से मिले निर्देशों पर अमल कर रहे हैं बिना यह सोचे कि महा पंचायतों में कौन शामिल हो रहा है कौन नहीं। उल्लेखनीय हैं कि राजस्थान के चाकसू में सचिन समर्थक विधायकों के अलावा पार्टी का कोई नेता शामिल नहीं हुआ।
पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने भी इस कार्यक्रम से किनारा कर लिया। पार्टी के वरिष्ठ नेता मानते हैं कि यह हालत राजस्थान में एक बार फिर दो गुटों के बीच एक नये संघर्ष की नींव तैयार कर रहा है और आने वाले समय में पार्टी के लिये खतरे की घंटी साबित हो सकती है जिसका भाजपा इंतज़ार कर रही है।