राजस्थान: विधानसभा में अशोक गहलोत ने विश्वास मत किया हासिल, कांग्रेस सरकार का टला संकट
By अनुराग आनंद | Published: August 14, 2020 04:22 PM2020-08-14T16:22:46+5:302020-08-14T18:01:04+5:30
राजस्थान विधानसभा में विश्वास प्रस्ताव को कांग्रेस ने जीत लिया है।
जयपुर: राजस्थान विधानसभा में अशोक गहलोत सरकार ने विश्वास मत प्रस्ताव को ध्वनिमत से जीत लिया है। इस तरह प्रदेश की कांग्रेस सरकार से संकट टल गया है। इसके साथ ही विधानसभा अध्यक्ष ने विधानसभा सत्र को 21 अगस्त तक के लिए स्थगित कर दिया है।
विधानसभा में अशोक गहलोत सरकार के विश्वास मत प्रस्ताव पर जीत हासिल करने के बाद विधानसभा से बाहर आकर सचिन पायलट ने कहा कि विश्वास मत प्रस्ताव जो सरकार द्वारा लाया गया था, आज राजस्थान विधानसभा में बहुत अच्छे बहुमत के साथ पारित किया गया है। विपक्ष द्वारा विभिन्न प्रयासों के बावजूद, परिणाम सरकार के पक्ष में रहा है।
इसके साथ ही सचिन पायलट ने कहा कि विश्वास प्रस्ताव पर गहलोत सरकार की जीत ने उन सभी संदेहों पर पूर्ण विराम लगा दिया है जो बढ़ रहे थे। उन सभी मुद्दों के लिए एक रोडमैप तैयार किया गया है जो हमलोगों द्वारा लगातार उठाए जा रहे थे। मुझे पूरा विश्वास है, कि जो रोडमैप को लेकर हमारी चर्चा कांग्रेस आलाकमान से हुई है, उसकी समय पर घोषणा की जाएगी।
Chief Minister Ashok Gehlot led #Rajasthan Government wins vote of confidence in the State Assembly. pic.twitter.com/csbM85SQnW
— ANI (@ANI) August 14, 2020
इसके साथ ही सचिन पायलट ने कहा कि पहले मैं सरकार का हिस्सा था लेकिन अब मैं नहीं हूं। यह महत्वपूर्ण नहीं है कि कोई कहां बैठता है, लेकिन लोगों के दिल और दिमाग में क्या है यह महत्व रखता है। जहां तक बैठने को लेकर बात हुई है तो बता दूं कि इसके पैटर्न पर विचार किया जाता है, यह स्पीकर और पार्टी द्वारा तय किया जाता है और मैं इस पर कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता हूं।
विधानसभा सत्र में बहस के दौरान मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि आज बीजेपी के लोग बगुला भगत बन रहे हैं। सौ चूहे खाकर बिल्ली हज को चली है। मैं 69 साल का हो गया, 50 साल से राजनीति में हूं। मैं आज लोकतंत्र को लेकर चिंतित हूं। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि सम्माननीय नेता प्रतिपक्ष को कहना चाहूंगा कि आप चाहे कितनी भी कोशिश कर लो, मैं आपको कहता हूं कि मैं राजस्थान की सरकार को गिरने नहीं दूंगा।
इसके साथ ही मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपने और वसुंधरा राजे के बीच के रिश्ते पर सफाई देते हुए कहा कि ऐसा कहा रहा है कि हम आपस में मिले हुए हैं, मगर इसमें कोई सच्चाई नहीं है।
अशोक गहलोत ने कहा कि मेरी वसुंधरा जी से कोई बातचीत नहीं होती है। मेरी तो इच्छा होती है कि एक बार वसुंधरा जी आएं और एक बार मैं आऊं। लेकिन इस बार कुछ लोगों ने सोचा कि मैं आ जाऊं और वसुंधरा को किनारे कर दूं।