प्रियंका गाधी की यूपी सरकार को चुनौती, कहा- 'इंदिरा गांधी की पोती हूं, जो कार्रवाई करना है करें'
By विनीत कुमार | Published: June 26, 2020 12:13 PM2020-06-26T12:13:52+5:302020-06-26T12:21:21+5:30
प्रियंका गांधी ने कहा कि यूपी सरकार उनके खिलाफ अपने विभागों द्वारा 'धमकियां' देकर अपना समय बर्बाद कर रही है। प्रियंका ने कहा कि वे सच को सामने लाने काम जारी रखेंगी।
कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने अपने एक ट्वीट और फेसबुक पोस्ट पर शुरू हुए विवाद के बाद उत्तर प्रदेश सरकार को चुनौती देते हुए कहा है कि सरकार उनके खिलाफ जो चाहे एक्शन ले सकती है। प्रियंका ने साथ ही कहा कि यूपी सरकार फिजूल की धमकी देकर अपना समय बर्बाद कर रही है और वो सच को सामने लाने का काम जारी रखेंगी। प्रियंका ने कहा कि वे इंदिरा गांधी की पोती हैं और बीजेपी की अघोषित प्रवक्ता नहीं।
प्रियंका गांधी ने शुक्रवार को ट्वीट किया, 'जनता के एक सेवक के रूप में मेरा कर्तव्य यूपी की जनता के प्रति है, और वह कर्तव्य सच्चाई को उनके सामने रखने का है। किसी सरकारी प्रॉपगैंडा को आगे रखना नहीं है। यूपी सरकार अपने अन्य विभागों द्वारा मुझे फिजूल की धमकियां देकर अपना समय व्यर्थ कर रही है। जो भी कार्यवाही करना चाहते हैं, बेशक करें। मैं सच्चाई सामने रखती रहूंगी। मैं इंदिरा गांधी की पोती हूं, कुछ विपक्ष के नेताओं की तरह भाजपा की अघोषित प्रवक्ता नहीं।'
जनता के एक सेवक के रूप में मेरा कर्तव्य यूपी की जनता के प्रति है, और वह कर्तव्य सच्चाई को उनके सामने रखने का है। किसी सरकारी प्रॉपगैंडा को आगे रखना नहीं है। यूपी सरकार अपने अन्य विभागों द्वारा मुझे फिज़ूल की धमकियाँ देकर अपना समय व्यर्थ कर रही है।..1/2
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) June 26, 2020
प्रियंका गांधी लगातार उत्तर प्रदेश सरकार पर हमलावर रही हैं। राज्य में कोरोना संक्रमण सहित प्रवासी मजदूरों को लेकर भी हाल में प्रियंका काफी मुखर रही हैं। ताजा विवाद आगरा में कोरोना से मौत और कानपुर स्थित बालिका संरक्षण गृह मामले से जुड़ा है।
दरअसल आगरा जिला प्रशासन ने पिछले 48 घंटे में जिले में कोविड-19 से कथित रूप से 28 मरीजों की मौत संबंधी कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा के ट्वीट पर नाराजगी जाहिर करते हुए इसे भ्रामक बताया है और 24 घंटे के अंदर इसे वापस लेने को कहा था।
प्रियंका के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से जारी किए गए एक पोस्ट में कहा गया था कि, 'आगरा में 48 घंटे में भर्ती हुए 28 कोविड-19 मरीजों की मृत्यु हुई है। उत्तर प्रदेश सरकार के लिए यह कितनी शर्म की बात है कि इसी मॉडल का झूठा प्रचार करके सच दबाने की कोशिश की गई। सरकार की 'नो टेस्ट-नो कोरोना' की नीति पर सवाल उठे थे लेकिन सरकार ने इसका कोई जवाब नहीं दिया। अगर उत्तर प्रदेश सरकार सच दबाकर कोविड-19 के मामले में इसी तरह लगातार लापरवाही करती रही तो यह बहुत घातक होने वाला है।'
उत्तर प्रदेश राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने भेजा है नोटिस
दूसरे विवाद के तहत उत्तर प्रदेश राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा को कानपुर स्थित बालिका संरक्षण गृह से जुड़े मामले पर फेसबुक पोस्ट को लेकर नोटिस भेजा है। इसे राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने 'भ्रामक' टिप्पणी बताते हुए तीन दिन के अंदर जवाब मांगा है।
नोटिस में कहा गया है कि अगर वह अपनी पोस्ट का खंडन नहीं करती हैं तो उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। प्रियंका ने कानपुर स्थित बालिका संरक्षण गृह में पिछले दिनों 57 लड़कियों के कोविड-19 संक्रमित पाए जाने और उनमें से सात के गर्भवती होने की घटना की तुलना बिहार के मुजफ्फरपुर की एक घटना से करते हुए दावा किया था कि ऐसी ही एक वारदात देवरिया जिले में भी हो चुकी है।