महाराष्ट्र विधान परिषद चुनावः मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का निर्विरोध चुना जाना तय, कांग्रेस ने एक प्रत्याशी खड़ा किया
By भाषा | Published: May 9, 2020 10:01 PM2020-05-09T22:01:56+5:302020-05-09T22:01:56+5:30
मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने पिछले साल 28 नवंबर को राज्य के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। संवैधानिक नियमों के अनुसार 27 मई तक उनका विधायक बनना जरूरी था।
मुंबईः महाराष्ट्र विधान परिषद की नौ सीटों के लिए 21 मई को होने वाले चुनाव में कांग्रेस दो की बजाय एक प्रत्याशी खड़ा करने पर शनिवार को सहमत हो गई।
इसके साथ ही राज्य विधायिका के उच्च सदन में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे समेत अन्य प्रत्याशियों के निर्विरोध चुने जाने का रास्ता साफ हो गया है। कांग्रेस के सूत्रों के अनुसार, पार्टी जालना जिला परिषद के सदस्य राजेश राठौड़ को प्रत्याशी के रूप में खड़ा करेगी।
इससे पहले कांग्रेस ने दो प्रत्याशियों को चुनाव मैदान में उतारने की घोषणा की थी लेकिन अब वह एक उम्मीदवार पर सहमत हो गई है जिसके बाद ठाकरे का विधान परिषद में जाने का रास्ता साफ हो गया है। विधान परिषद के वर्तमान सदस्यों का कार्यकाल 24 अप्रैल को समाप्त होने के बाद नौ सीटें खाली हो गई थीं।
सत्ताधारी गठबंधन महा विकास आघाडी ने अब तक राठौड़ समेत पांच उम्मीदवारों के नाम की घोषणा की है। विपक्षी दल भाजपा ने शुक्रवार को अपने चार उम्मीदवारों के नाम की घोषणा की थी। ठाकरे राज्य विधायिका के किसी भी सदन के सदस्य नहीं हैं। शिवसेना ने ठाकरे के अतिरिक्त विधान परिषद की वर्तमान उपाध्यक्ष नीलम गोर्हे को प्रत्याशी बनाया है। राकांपा की ओर से शशिकांत शिंदे और अमोल मितकारी उम्मीदवार हैं। भाजपा की ओर से रंजीत सिंह मोहिते पाटिल, गोपीचंद पडलकर, प्रवीण दटके और अजित गोपछाड़े उम्मीदवार हैं।
कांग्रेस ने राजेश राठौड़ को महाराष्ट्र विधान परिषद का उम्मीदवार बनाया
कांग्रेस ने महाराष्ट्र विधान परिषद के चुनाव में राजेश राठौड़ को उम्मीदवार बनाया है। पार्टी ने एक बयान जारी कर इसकी जानकारी दी। राठौड़ महाराष्ट्र के मराठवाड़ा क्षेत्र के जालना जिले से आते हैं। कांग्रेस के एक नेता ने बताया कि राठौड़ को उम्मीदवार बनाकर पार्टी ने युवा और ओबीसी समाज को प्रतिनिधित्व दिया है।
महाराष्ट्र में विधान परिषद की नौ सीटों के लिए 21 मई को चुनाव हो रहा है। विधानसभा की मौजूदा गणित के हिसाब से चार सीटें भाजपा और पांच सीटें शिवसेना-कांग्रेस-राकांपा गठबंधन को जाएंगी। शिवसेना की तरफ से मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे भी उम्मीदवार हैं।
कोरोना संकट के कारण विधान सभा की किसी सीट पर उपचुनाव संभव नहीं होने होने की स्थिति में महा विकास आघाड़ी सरकार ने राज्यपाल कोटे की विधान परिषद सीट पर ठाकरे को मनोनीत करने का भगत सिंह कोश्यारी से अनुरोध किया था। हालांकि राज्यपाल कोश्यारी ने ठाकरे को मनोनीत करने के बजाय चुनाव आयोग से विधान परिषद की रिक्त सीटों पर चुनाव कराने का अनुरोध किया। कोश्यारी के अनुरोध पर आयोग ने विशेष परिस्थितियों का हवाला देते हुए चुनाव कराने का फैसला किया।