महाराष्ट्र सीएम उद्धव ठाकरे सहित 8 अन्य नेता निर्विरोध निर्वाचित, पहली बार विधान परिषद पहुंचे मुख्यमंत्री
By भाषा | Published: May 14, 2020 04:08 PM2020-05-14T16:08:51+5:302020-05-14T16:43:24+5:30
मुख्य चुनाव अधिकारी कार्यालय के मुताबिक इन सीटों के लिए दाखिल 14 नामांकन में पांच प्रत्याशियों ने या तो नाम वापस ले लिया था।
मुंबई: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और आठ अन्य उम्मीदवारों को बृहस्पतिवार को राज्य विधान परिषद के लिए निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया।
उद्धव ठाकरे के अलावा विधान परिषद की उपसभापति नीलम गोरे (शिवसेना), रणजीत सिंह मोहिते पाटिल, गोपीचंद पाडलकर, प्रवीण दटके और रमेश कराड (सभी भाजपा) को भी निर्वाचित घोषित किया गया है। निर्वाचित होने वाले उम्मीदवारों में राकांपा के शशिकांत शिंदे और अमोल मितकरी तथा कांग्रेस के राजेश राठौड़ शामिल हैं।
ये सभी उम्मीदवार विधान परिषद की उन नौ सीटों के लिए मैदान में थे जो 24 अप्रैल को खाली हुयी थीं। एक अधिकारी ने कहा, "वे सभी निर्विरोध चुने गए।" उन्होंने बताया कि नामांकन वापस लेने की समय सीमा दोपहर तीन बजे समाप्त हो जाने के बाद परिणाम आधिकारिक रूप से घोषित किए गए।
इस चुनाव के साथ 59 वर्षीय ठाकरे पहली बार विधायक बने हैं। वह शिवसेना के अध्यक्ष भी हैं। उन्होंने पिछले साल 28 नवंबर को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी और उन्हें 27 मई से पहले विधानमंडल के दोनों सदनों में से किसी एक का सदस्य बनना जरूरी था।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और 8 अन्य नेता राज्य विधान परिषद के लिए हुए निर्विरोध निर्वाचित हुए हैं। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और अन्य आठ प्रत्याशियों का 21 मई को विधान परिषद की नौ सीटों के लिए होने वाले चुनाव में निर्विरोध चुनाव जीत गए हैं।
महाराष्ट्र के मुख्य चुनाव अधिकारी कार्यालय के मुताबिक इन सीटों के लिए दाखिल 14 नामांकन में पांच प्रत्याशियों ने या तो नाम वापस ले लिया या फिर तकनीकी आधार पर उनका नामांकन रद्द हो गया।
इस प्रकार नौ प्रत्याशी ही मैदान में हैं और इतनी ही सीटों पर चुनाव होना है। महाराष्ट्र विधान परिषद चुनाव के लिए दाखिल 14 नामांकन में भाजपा के डॉ. अजित गोपछडे और संदीप लीले ने अपना नामांकन वापस ले लिया। अधिकारी ने बताया कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) की ओर से डमी के तौर पर नामांकन दाखिल करने वाले किरण पवासकर और शिवाजी राव गरजे ने भी आज अपना नाम वापस ले लिया। उन्होंने बताया कि पांचवा नामांकन शहबाज राठौड़ का था जिसे तकनीकी आधार पर खारिज कर दिया गया।
इस प्रकार नौ सीटों के लिए नौ प्रत्याशी ही मैदान में रह गए हैं। अधिकारी ने कहा कि इसका अभिप्राय है कि मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे सहित सभी नौ प्रत्याशी निर्विरोध राज्य विधायिका के उच्च सदन के लिए निर्वाचित हो जाएंगे।
उल्लेखनीय है कि शिवसेना नेता संजय राउत ने सोमवार को कहा था कि कोरोना संकट के दौरान इन सीटों पर चुनाव होने से लोगों के बीच गलत संदेश जाएगा। कानूनी प्रावधान के तहत पीठासीन अधिकारी चुनाव आयोग को नामांकन वापस लेने की तारीख (14 मई) समाप्त होने पर नौ सीटों के लिए मैदान में नौ प्रत्याशियों के होने की जानकारी देंगे। अधिकारी ने बताया कि पीठासीन अधिकारी की सूचना के आधार पर चुनाव आयोग 26 मई को प्रत्याशियों के निर्वाचित होने का प्रमाणपत्र जारी करेगा।
गौरतलब है कि शिवसेना ने उद्धव ठाकरे के अलावा विधान परिषद के निवर्तमान उपाध्यक्ष नीलम गोरे को प्रत्याशी बनाया है जबकि राकांपा ने अमोल मितकारी और शशिकांते शिंदे को नामांकित किया है। कांग्रेस की ओर से राजेश राठौड़ को प्रत्याशी बनाया गया है। तीन पार्टियां महाराष्ट्र में मिलकर सरकार चला रही हैं। वही मुख्य विपक्षी भाजपा ने रमेश कराड, गोपीचंद पडलकर, प्रवीण दटके और रंजीतसिंह मोहिते पाटिल को प्रत्याशी बनाया है। गोरे के अलावा बाकी आठ प्रत्याशी (ठाकरे सहित)पहली बार महाराष्ट्र विधान परिषद के सदस्य बनेंगे।