बिहार में कोरोना जांच को लेकर तेजस्वी यादव ने साधा नीतीश सरकार पर निशाना, आंकड़ों पर उठाए सवाल
By एस पी सिन्हा | Published: August 13, 2020 02:51 PM2020-08-13T14:51:11+5:302020-08-13T14:51:11+5:30
तेजस्वी यादव ने बिहार में कोरोना संक्रमण के लिए हो रही टेस्टिंग की संख्या में हेराफेरी के आरोप लगाए हैं। तेजस्वी यादव ने कहा कि जब 10 हजार टेस्ट हो रहे थे तब 3 से 4 हजार केस आते थे और अब जबकि 70 हजार से अधिक टेस्ट की बात हो रही है तो भी इतने ही नंबर सामने आ रहे हैं।
पटना: बिहार में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने नीतीश सरकार पर फिर से तीखा हमला बोला है. तेजस्वी यादव ने सीधे-सीधे बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय पर हमला करते हुए कहा कि मंत्री ने कोरोना वायरस को लेकर विधानसभा में झूठ बोला है. पटना में गुरुवार को आयोजित प्रेस वार्ता में तेजस्वी ने कहा कि मंगल पांडेय ने सदन में 3 लाख 25 हजरा आरटीपीसीआर जांच की बात कही थी, जो गलत है.
उन्होंने कोरोना पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और स्वास्थ्य मंत्री के पेश आंकड़ों पर सवाल खड़े करते हुए पूछा- कौन सच्चा और कौन झूठा?
तेजस्वी यादव ने आरोप लगाया है कि सरकार ने जनता को तो धोखा दिया ही है, स्वास्थ्य मंत्री ने सदन में भी गलत आंकड़ा पेश किया है. उनके अनुसार आधे से अधिक जांच आरटी पीसीआर से हो रही है, जबकि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने प्रधानमंत्री को जो आंकड़ा दिया है, उसके अनुसार यह जांच मात्र 10 फीसदी हो रही है.
उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार ने इस डबल इंजन की सरकार को कोरोना फंड से वंचित कर दिया. उन्होंने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने पीएम को सूचना दी कि राज्य के 5 मेडिकल कॉलेजों में आरटी पीसीआर की जांच हो रही है, लेकिन सच यह है कि अब तक इसका प्रस्ताव भी नहीं गया है.
वहीं, इस आरोप लेकर उन्होंने एक ट्वीट भी किया. जिसमें उन्होंने लिखा कि बिहार के स्वास्थ्य मंत्री ने सदन में मुझे बताया कि कुल कोरोना जांच में से 52.9 फीसदी आरटी-पीसीआर, 17.9 फीसदी ट्रूनेट और 29 फीसदी एंटीजेन टेस्ट हो रहे हैं. लेकिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 11 अगस्त को प्रधानमंत्री के साथ समीक्षा बैठक में बताया कि बिहार में प्रतिदिन 10 फीसदी से भी कम आरटी-पीसीआर जांच हो रही है.
बिहार की नाकाम सरकार को छोड़ लगभग अधिकांश राज्यों ने RT-PCR जाँच का दायरा बढ़ाने का काम किया है। तमिलनाडु में सभी टेस्ट RT-PCR द्वारा हुए है और रोजाना औसतन 67000 जाँच किये जा रहे है उसी प्रकार आंध्र प्रदेश में 27000, गुजरात में 20000 प्रतिदिन RT-PCR जाँच हो रहे |
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) August 13, 2020
वहीं अपने दूसरे ट्वीट में तेजस्वी यादव ने लिखा कि बिहार में जब 10 हजार जांच हो रही थी तो 3000-3500 मरीज मिल रहे थे और अब 75 हजार जांच हो रही तब भी लगभग 3500-4000 मरीज मिल रहे हैं. इसका सीधा मतलब है जांच में झोल-झाल हो रहा है, आंकडों की हेरा फेरी हो रही है. तेजस्वी ने लिखा कि नीतीश जी अपनी जगहसाई से बचने के लिए रैपिड एंटीजन टेस्ट की संख्या बढा रहे हैं.