पंचायत चुनाव से पहले नीतीश सरकार का फैसला, बेतिया, सासाराम, मोतिहारी, मधुबनी और समस्तीपुर बनेंगे पांच नए नगर निगम...
By एस पी सिन्हा | Published: December 26, 2020 03:18 PM2020-12-26T15:18:53+5:302020-12-26T15:20:50+5:30
बिहार में एनडीए सरकार ने बड़ा फैसला किया है. प्रदेश के 5 नगर परिषद को अपग्रेड कर नगर निगम बनाया गया है, 103 नगर पंचायत, 8 नगर परिषद को मंजूरी दी गई है.
पटनाः बिहार में पंचायत चुनाव से पहले नीतीश सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. आज हुई कैबिनेट की बैठक में नगर विकास विभाग के एजेंडे को पास किया गया है, जिसमें 103 नए नगर पंचायत का निर्माण सहित पांच नगर निगम बनाने की बात कही गई है.
ऐसे में माना जा रहा है कि पंचायत चुनाव के बाद इन निकायों में भी चुनाव होंगे. अब शीघ्र में इस संबंध में अधिसूचना जारी कर दी जाएगी. वहीं, राज्य की उप मुख्यमंत्री रेणु देवी के विधानसभा क्षेत्र बेतिया समेत सासाराम, मोतिहारी, मधुबनी और समस्तीपुर को नगर परिषद से नगर निगम में अपग्रेड किया गया है.
वहीं, बिहार में नए नगर पंचायत, नगर परिषद व नगर निगम के गठन की कवायद से पंचायत चुनाव का गणित प्रभावित हो रहा है. नगर विकास एवं आवास विभाग की कार्यवाही से सूबे की 194 पंचायतों का भूगोल बदल रहा है और उसी के अनुरूप अगले साल होने जा रहे पंचायत चुनाव के लिए बन रही मतदाता सूची में भी परिवर्तन होगा.
बिहार नगर पालिका अधिनियम 2007 की धारा 3-1 का संशोधन किया
बिहार कैबिनेट ने बिहार नगर पालिका अधिनियम 2007 की धारा 3-1 का संशोधन किया है. बिहार बिहार कैबिनेट ने पुनपुन, पालीगंज, हरनौत, सरमेरा, परवलपुर गिरियक, अस्थामा, एकंगरसराय, चंडी, गडहनी समेत 103 नगर पंचायत की मंजूरी दी है. नीतीश कैबिनेट ने 103 नया नगर पंचायत, 8 नए नगर परिषद, वहीं 32 नगर पंचायत को नगर परिषद में अपग्रेड किया गया है.
वहीं, 12 नगर निकाय को अपग्रेड किया गया है. जबकि पांच नगर परिषद को नगर निगम में परिणत किया गया है. यहां उल्लेखनीय है कि बिहार विधानसभा चुनाव के बाद बिहार में पंचायत चुनाव प्रस्तावित है. पंचायत चुनाव अप्रैल या मई महीने के शुरू हो सकता है. वहीं आयोग ने इसके लिए तैयारी भी शुरू कर दिया है.
बिहार में पंचायत चुनाव के जरिए ही लोकल स्तर पर मुखिया और सरपंच का चुनाव किया जाता है. बताया जा रहा है कि नगर पंचायत और निकायों का स्वरुप अब नए साल में ही बदलेगा. कैबिनेट मंजूरी के बाद नगर विकास विभाग अब इन सभी पर योजना को चरणबद्ध तरीके से लागू करने की तैयारी करेगी. वहीं इन पंचायतों में भी जल्द ही चुनाव कराया जाएगा.
पटना, बिहारशरीफ समेत अन्य कई नगर निगमों के क्षेत्र का विस्तार किया जा रहा
इस नये प्रस्ताव के तहत पटना, बिहारशरीफ समेत अन्य कई नगर निगमों के क्षेत्र का विस्तार किया जा रहा है. इसके आसपास के कई इलाके इन नगर निगमों के क्षेत्र में समाहित हो जायेंगे. पटना नगर निगम का क्षेत्र विस्तार होकर यह दानापुर के आसपास तक पहुंच जायेगा. इसी तरह बिहारशरीफ नगर निगम का विस्तार दीपनगर क्षेत्र तक हो जायेगा. इसके अलावा पटना जिले के दो प्रखंड नौबतपुर और पुनपुन नगर पंचायत क्षेत्र के रूप में उत्क्रमित हो जायेंगे.
वहीं, संपतचक नगर पंचायत क्षेत्र की कुछ पंचायतों को छोड़कर अन्य इलाके को नगर पर्षद क्षेत्र बना देने का प्रस्ताव है. इसी तरह मसौढ़ी क्षेत्र का विस्तार करते हुए इसे भी उत्क्रमित कर दिया जायेगा. जबकि कटिहार जिले का कोढ़ा नगर पर्षद क्षेत्र बनने जा रहा है. इस तरह से राज्य के 100 से ज्यादा नगर क्षेत्रों का विस्तार या उत्क्रमण होने जा रहा है.
आने वाले समय में मेट्रो का विस्तार आसपास के इलाकों में भी
इस नयी विस्तारीकरण योजना से पटना नगर निगम के क्षेत्र का विस्तार मेट्रो को ध्यान में रखते हुए भी किया जा रहा है, ताकि आने वाले समय में मेट्रो का विस्तार आसपास के इलाकों में भी आसानी से किया जा सके.इसके अलावा पटना की बढती आबादी को देखते हुए इसका फैलाव हर तरफ करने के लिए भी नगर निगम क्षेत्र में बढ़ोतरी की जा रही है.
इन बातों का ध्यान रखते हुए पटना का विस्तारीकरण बेहद अहम माना जा रहा है. पंचायती राज विभाग के अपर सचिव अमृत लाल मीणा ने इसको लेकर जिलों से रिपोर्ट मांगी है. उन्होंने कहा है कि नगर विकास एवं आवास विभाग से जो प्रारंभिक सूचनाएं आयीं हैं, उनके मुताबिक राज्य की 194 पंचायतों के क्षेत्र में परिवर्तन हो रहा है.
राज्य की कुछ पंचायत पूरी तरह से नगर पचायत, नगर परिषद व नगर निगम का हिस्सा बनने जा रहीं हैं, उन जगहों पर तो कोई समस्या नहीं आएगी. लेकिन जो पंचायत आंशिक रूप से नगर निकाय में शामिल हो रहे हैं, पंचायत चुनाव के लिए बन रही वहां की मतदाता सूची में सुधार करना होगा. नए भौगोलिक क्षेत्रफल व जनसंख्या के हिसाब ने नए सिरे से वार्ड बचेंगे और इसका असर पर पंचायत प्रतिनिधियों की संख्या पर भी पडे़गा.