विकास दुबे की गिरफ्तारी पर राजनीति शुरू, अखिलेश यादव ने पूछा- 'ये आत्मसमर्पण है या गिरफ्तारी सच बताए'
By पल्लवी कुमारी | Published: July 9, 2020 11:23 AM2020-07-09T11:23:58+5:302020-07-09T11:27:38+5:30
उत्तर प्रदेश के कानपुर शूटआउट का मुख्य आरोपी 8 पुलिसकर्मियों का हत्या विकास दुबे उज्जैन स्थित महाकाल के मंदिर से गिरफ्तार किया गया। जल्द ही मध्य प्रदेश पुलिस, विकास दुबे को उत्तर प्रदेश पुलिस को सौंपेगी।
उज्जैन: उत्तर प्रदेश के कानपुर मुठभेड़ में डीएसपी सहित 8 पुलिसकर्मी का हत्यारा विकास दुबे मध्य प्रदेश के उज्जैन के महाकाल मंदिर से गिरफ्तार किया गया है। विकास दुबे की गिरफ्तारी के कुछ घंटे भी नहीं हुए लेकिन इसपर राजनीति शुरू हो गई है। उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने मांग की है कि सरकार जल्दी ये सच बताए कि ये आत्मसमर्पण है या गिरफ्तारी। इसके साथ ही अखिलेश यादव ने गैंगस्टर विकास दुबे के कॉल रिकॉर्ड भी सार्वजनिक करने की मांग की है।
अखिलेश यादव ने ट्वीट किया, खबर आ रही है कि ''कानपुर-कांड'' का मुख्य अपराधी पुलिस की हिरासत में है। अगर ये सच है तो सरकार साफ करे कि ये आत्मसमर्पण है या गिरफ्तारी। साथ ही उसके मोबाइल की CDR सार्वजनिक करे जिससे सच्ची मिलीभगत का भंडाफोड़ हो सके।
ख़बर आ रही है कि ‘कानपुर-काण्ड’ का मुख्य अपराधी पुलिस की हिरासत में है. अगर ये सच है तो सरकार साफ़ करे कि ये आत्मसमर्पण है या गिरफ़्तारी. साथ ही उसके मोबाइल की CDR सार्वजनिक करे जिससे सच्ची मिलीभगत का भंडाफोड़ हो सके.
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) July 9, 2020
विकास दुबे को पुलिस ने महाकाल मंदिर के अंदर से गिरफ्तार किया है। कुछ मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया है कि विकास दुबे मंदिर के अंदर जाकर सरेंडर करने की कोशिश कर रहा था। हालांकि पुलिस का सरेंडर या गिरफ्तारी पर अधिकारिक बयान नहीं आया है।
मध्य प्रदेश के मंत्री नरोत्तम मिश्रा का दावा-विकास की हुई गिरफ्तारी
मध्य प्रदेश के मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा, कानपुर की नृशंस घटना के बाद से ही हमने पूरे मध्य प्रदेश और पुलिस को अलर्ट कर रखा था, जैसे ही संदेह हुआ उसे उज्जैन के महाकाल मंदिर से गिरफ्तार कर लिया गया।
बिहार DGP गुप्तेश्वर पांडे ने कहा है, वो (विकास दूबे) आत्मसमर्पण नहीं कर सकता। अगर करना होता तो कहीं और कर सकता था, दिल्ली, हरियाणा ज़्यादा सुरक्षित था, ये मध्य प्रदेश पुलिस की कामयाबी है। UP पुलिस से उसे डर था इसलिए उसे कहीं बाहर जाना था। महाकाल ने उसे दर्शन ही नहीं दिया, दर्शन करने से पहले ही पकड़ा गया।
वो(विकास दूबे) आत्मसमर्पण नहीं कर सकता। अगर करना होता तो कहीं और कर सकता था, दिल्ली,हरियाणा ज़्यादा सुरक्षित था,ये मध्य प्रदेश पुलिस की कामयाबी है। UP पुलिस से उसे डर था इसलिए उसे कहीं बाहर जाना था। महाकाल ने उसे दर्शन ही नहीं दिया, दर्शन करने से पहले ही पकड़ा गया: बिहार DGP pic.twitter.com/T96UYD6u6r
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 9, 2020
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विकास दुबे की गिरफ्तारी के बाद सीएम योगी से की बात
विकास दुबे कि गिरफ्तारी पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा, मैंने विकास दुबे की गिरफ्तारी पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी से बात कर ली है। शीघ्र आगे की कानूनी कार्रवाई की जायेगी। मध्यप्रदेश पुलिस, विकास दुबे को उत्तर प्रदेश पुलिस को सौंपेगी।
मैंने यूपी के मुख्यमंत्री श्री @myogiadityanath जी से बात कर ली है। शीघ्र आगे की कानूनी कार्रवाई की जायेगी।
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) July 9, 2020
मध्यप्रदेश पुलिस, विकास दुबे को उत्तर प्रदेश पुलिस को सौंपेगी।
एमपी सीएम शिवराज सिंह चौहान ने यह भी लिखा, जिनको लगता है की महाकाल की शरण में जाने से उनके पाप धूल जाएंगे उन्होंने महाकाल को जाना ही नहीं। हमारी सरकार किसी भी अपराधी को बख्शने वाली नहीं है।
जानें कानपुर शूटआउट में क्या हुआ?
उत्तर प्रदेश के कानपुर में पुलिस की एक टीम ने दो और तीन जुलाई की मध्य रात्रि (एक से डेढ़ बजे के करीब) को चौबेपुर पुलिस थाने के अंतर्गत बिकरू गांव में हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे को गिरफ्तार करने के लिए छापेमारी करने पहुंची। उसी दौरान मुठभेड़ हो गई। जैसे ही पुलिस का एक दल हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे के घर के पास पहुंचने ही वाला था। उसी दौरान एक इमारत की छत से पुलिस दल पर अंधाधुंध गोलीबारी की गई। ये सब इतनी जल्दीबाजी में हुआ कि पुलिस को संभलने का मौक नहीं मिला। जिसमें पुलिस उपाधीक्षक सहित उत्तर प्रदेश पुलिस (UP Police) के आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए। आठ पुलिस कर्मी घायल हैं, जबकि दो अपराधी भी इस दौरान मारे गए। शहीद होने वालों में पुलिस उपाधीक्षक एस पी देवेंद्र मिश्रा, तीन उप निरीक्षक और चार कॉन्स्टेबल थे।
शहीद होने वाले पुलिसकर्मियों में बिल्हौर के क्षेत्राधिकारी डिप्टी एसपी देवेंद्र मिश्रा (54), थानाध्यक्ष शिवराजपुर महेश कुमार यादव (42), सब इंस्पेक्टर अनूप कुमार सिंह (32), सब इंस्पेक्टर नेबू लाल (48), कांस्टेबिल जितेंद्र पाल (26), सुल्तान सिंह (35), बबलू कुमार (23) और राहुल कुमार (24) शामिल हैं।