कृषि कानून विरोधः स्मृति ईरानी ने बोला हमला, कहा- किसान को बिचौलियों से आजाद होता देख कांग्रेस का नेतृत्व तिलमिला गया
By रामदीप मिश्रा | Published: October 5, 2020 04:06 PM2020-10-05T16:06:48+5:302020-10-05T16:06:48+5:30
किसानों को आशंका है कि केंद्र द्वारा किए जा रहे कृषि सुधार से न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) को समाप्त करने का रास्ता साफ होगा और वे बड़ी कंपनियों की ‘दया’ पर आश्रित रह जाएंगे। हालांकि, सरकार का कहना है कि एमएसपी प्रणाली में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा।
अहमदाबादः नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसान और विपक्षी पार्टियां लगातार प्रदर्शन कर रही हैं। उनके निशाने पर देश की नरेंद्र मोदी सरकार है। राहुल गांधी ने आरोप लगाया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीन कृषि कानूनों से किसानों और मजदूरों को खत्म कर रहे हैं। इस बीच केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कांग्रेस पर पलटवार किया है।
स्मृति ईरानी ने कहा, 'किसान को बिचौलियों से आजाद होता देख कांग्रेस का नेतृत्व तिलमिला उठा क्योंकि वर्षों किसान को बिचौलियों के सम्मुख बांधकर कांग्रेस की राजनीति चलती रही। कानून के अनुसार किसान को फसल की राशि का भुगतान तुरंत मिलेगा ज्यादा से ज्यादा तीन दिन के भीतर।'
उन्होंने कहा, 'देश के नागरिक भली भांति जानते हैं कि कांग्रेस के जिस प्रमुख परिवार के प्रमुख सदस्य ने जीवन भर किसानों की जमीन लूटी हो वो परिवार क्यों चाहेगा कि किसान की ज़मीन सुरक्षित रहे... कांग्रेस पार्टी ने उन लोगों का समर्थन किया जिन्होंने देश के उपराष्ट्रपति के पद पर हमला किया।'
इससे पहले राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीन कृषि कानूनों से 'किसानों और मजदूरों को वैसे ही खत्म' कर रहे हैं जैसे उन्होंने नोटबंदी और जीएसटी से छोटे दुकानदारों को 'बर्बाद' कर दिया था। राहुल ने यहां एक सभा को संबोधित करते हुए बीजेपी नीत केंद्र सरकार से सवाल किया कि इस महामारी के समय भी कानून लाने की क्या जल्दी थी।
आपको बता दें, किसानों को आशंका है कि केंद्र द्वारा किए जा रहे कृषि सुधार से न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) को समाप्त करने का रास्ता साफ होगा और वे बड़ी कंपनियों की ‘दया’ पर आश्रित रह जाएंगे। हालांकि, सरकार का कहना है कि एमएसपी प्रणाली में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा।
संसद ने हाल में तीन विधेयकों- ‘कृषक उपज व्यापार एवं वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) विधेयक-2020’, ‘किसान (सशक्तीकरण और संरक्षण) मूल्य आश्वासन’ अनुबंध एवं कृषि सेवाएं विधेयक 2020 और ‘आवश्यक वस्तु संशोधन विधेयक-2020’ को पारित किया। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की मंजूरी के बाद तीनों कानून 27 सितंबर से प्रभावी हो गए।