कोरोना की तीसरी लहर से कैसे रहें सुरक्षित ? अभी से शुरू कर दें ये 8 काम, जानें विशेषज्ञों की सलाह

By संदीप दाहिमा | Published: June 3, 2021 12:19 PM2021-06-03T12:19:31+5:302021-06-03T12:26:16+5:30

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वैज्ञानिक तथा औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर) ने आगाह किया कि कोविड-19 संकट अभी समाप्त नहीं हुआ है और अगर महामारी की तीसरी लहर आती है जो उसके गंभीर परिणाम होंगे। वायरस के उच्च स्तर के प्रसार को देखते हुए तीसरी लहर आना अनिवार्य है लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि यह तीसरी लहर कब आएगी और किस स्तर की होगी। उच्चतम न्यायालय ने भी केंद्र सरकार को इससे निपटने के लिए तैयार रहने को कहा है।

नीति आयोग के सदस्य डॉ। वीके पॉल ने कहा कि बदलते वायरस की प्रतिक्रिया समान रहती है। हमें कोविड-उपयुक्त व्यवहार अपनाने की जरूरत है, जैसे मास्क लगाना, दूरी बनाना, स्वच्छता, गैर जरूरी मुलाकातें नहीं करना और घर में ही रहना।

सीएसआईआर ने भी कहा कि भारत अभी सामुदायिक प्रतिरोधक क्षमता हासिल करने से दूर है और ऐसे में लोगों को वायरस के संक्रमण से बचने के लिए मास्क पहनना चाहिए। इसके अलावा लोगों को सामाजिक दूरी तथा हाथों की सफाई जैसे उपायों का भी पालन करते रहना चाहिए।

कोरोना की तीसरी लहर से बचने के लिए अपने हाथों को नियमित रूप से साबुन से धोते रहें।

हो सके तो घर से बाहर ही न निकलें और अगर जा भी रहे हैं, तो मास्क पहनकर जायें और सैनिटाइजर साथ रखें। अपने मास्क और किसी भी चीज को छूने से बचें।

संक्रमित लोगों और अन्य लोगों से कम से कम मीटर की दूरी बनाकर रखें। छींकते या खांसते समय अपने मुंह को रुमाल या टिश्यू पेपर से कवर करें और टिश्यू पेपर को सही जगह फेंके।

अगर आपका स्वास्थ्य पहले से ही खराब है तो आप घर के अंदर ही रहें। स्मोकिंग से बचें और फेफड़ों को प्रभावित करने वाली चीजों से दूरी बना लें।

कोरोना की तीसरी लहर को बच्चों के लिए ज्यादा खतरनाक माना जा रहा है। इसलिए कई राज्यों ने तैयारी भी शुरू कर दी है। इसे लेकर पेरेंट्स के बीच चिंता का माहौल बना हुआ है। बच्चों को वर्तमान प्रोटोकॉल के तहत टीका नहीं लगाया जा सकता है। साथ ही उनके लिए कोई विशेष दवा विकसित नहीं की गई है। इसलिए, छोटे बच्चों में कोरोना के जोखिम को रोकने के लिए, उनकी प्रतिरक्षा को बढ़ाने की आवश्यकता है।

तीसरी लहर से बच्चों को बचाने के लिए फिलहाल डॉक्टर उनकी इम्यूनिटी मजबूत बनाने पर जोर दे रहे हैं। डॉक्टर के अनुसार, आप एक निश्चित सीमा तक बच्चों को सप्लीमेंट दे सकते हैं। इसे 15 दिनों के लिए जस्ता, एक महीने के लिए मल्टीविटामिन और एक महीने के लिए कैल्शियम दिया जा सकता है। ये सभी चीजें प्रतिरक्षा को बढ़ावा दे सकती हैं। हालांकि, डॉक्टर विटामिन के प्राकृतिक स्रोतों का अधिक उपयोग करने की सलाह भी दे रहे हैं।

इसके अलावा आपको कोरोना के नियमों का पालन करना और बच्चों के लिए एक आदत बनाने की जरूरत है। छोटे बच्चों से बाहर से आए लोगों से दूर रखें, चाहे उन्हें लक्षण हों या न हों। साथ ही बच्चों को सर्दी-जुकाम और पेट की बीमारियों से बचाएं।

ऐसा इसलिए है क्योंकि ये रोग प्रतिरक्षा प्रणाली को नुकसान पहुंचाते हैं। इसलिए बच्चों को अधिक ठंडा पानी और तैलीय भोजन न दें। इसके बजाय, अपने आहार में दालें, साग और फल शामिल करें।