हमले के जिम्मेदार लोगों को करो दंडित, भले सर्जिकल स्ट्राइक ही करना पड़े: शहीद सीआरपीएफ जवान की बेटी
By भाषा | Published: February 16, 2019 06:09 AM2019-02-16T06:09:03+5:302019-02-16T06:09:03+5:30
आरपीएफ की 98वीं बटालियन के हेड कांस्टेब बासुमतारी उन 40 जवानों में थे जो पुलवामा में आतंकवादी हमले में शहीद हो गये। उनके परिवार में बेटी दीदमास्वरी, पत्नी सन्माटी और बेटा है।
कलाबारी/गुवाहाटी, 15 फरवरी: जम्मू कश्मीर के पुलवामा में बृहस्पतिवार को शहीद हो गये सीआरपीएफ के हेड कांस्टेबल मानेश्वर बासुमतारी की बेटी ने मांग की, ‘‘मेरे पिता, जवानों की हत्या करने के लिए षड्यंत्रकर्ताओं को जरुरी दंडित किया जाना चाहिए, भले ही उसका मतलब सीमापार सर्जिकल स्ट्राइक करना हो। ’’ सीआरपीएफ की 98वीं बटालियन के हेड कांस्टेब बासुमतारी उन 40 जवानों में थे जो पुलवामा में आतंकवादी हमले में शहीद हो गये। उनके परिवार में बेटी दीदमास्वरी, पत्नी सन्माटी और बेटा है।
शोकाकुल दीदमास्वरी ने शुक्रवार को कहा, ‘‘हम न्याय चाहते हैं। पुलवामा हमले के लिए जिम्मेदार कायरों को करारा जवाब दिया जाए। ’’ असम के बक्सा जिले के कलाबारी गांव में अपने घर पर संवाददाताओं से बातचीत करते हुए उसने यह भी मांग की कि सरकार को अब उनके परिवार की देखभाल करनी चाहिए। सन्माटी ने सिसकते हुए कहा कि बासुमतारी हाल ही में गांव आये थे। वह इससे आगे कुछ नहीं बोल नहीं पायीं।
इस हमले के बाद सोशल मीडिया पर यह अफवाहें उड़ने लगीं कि असम के तीन और जवान इस हमले में शहीद हो गये थे। लेकिन बाद में संबंधित जवानों ने फेसबुक पर सामने आकर इन अफवाहों का खंडन किया। उनमें एक उदलगुरी जिले के मिजिंग बासुमतारी ने कहा, ‘‘यह फर्जी खबर है। मैं बिल्कुल ठीक हूं और मुझे कुछ नहीं हुआ है। इस फर्जी पोस्ट को साझा नहीं करें।’’
दूसरे सीआरपीएफ और बोगांईगांव निवासी जवान पबित्र बर्मन ने कहा, ‘‘दोस्तो। मैं बिल्कुल सुरक्षित और ठीक हूं। मैं कश्मीर के अन्य जिले में तैनात हूं जो पुलवामा से काफी दूर है। हमला पुलवामा में हुआ है।’’
तीसरे जवान अनंत सैकी के परिवार ने नागांव जिले के गोरुबंधा से कहा कि वह बिल्कुल ठीक हैं। इसी बीच, असम के कई संगठनों ने प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने जैश ए मोहम्मद के पुतले फूंके।