सुशील मोदी का नीतीश सरकार पर जबदस्त हमला, बोले- "महागठबंधन के मंत्री केवल थेथरोलाजी करते हैं"
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: November 8, 2022 07:00 PM2022-11-08T19:00:03+5:302022-11-08T19:05:13+5:30
किसी जमाने में नीतीश कुमार के हमराह रहे सुशील मोदी ने उनकी सरकार को कटघरे में खड़ा करने के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बिहार को केंद्र से जारी की गई धनराशि का ब्योरा पेश करते हुए जनता को गुमराह करने का आरोप लगाया है।
पटना: भारतीय जनता पार्टी के राज्यसभा सांसद सुशील मोदी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवाई में बिहार की सत्ता संभाल रही महागठबंधन सरकार पर जबरदस्त हमला बोला है। एक जमाने में नीतीश कुमार के हमराह रहे सुशील मोदी ने उनकी सरकार को कटघरे में खड़ा करने के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बिहार को जारी की गई धनराशि का ब्योरा पेश करते हुए जनता को ठगने, गुमराह करने और साथ में मंत्रियों द्वारा भ्रष्टाचार करने का आरोप लगाया है।
सुशील मोदी ने बेहद कटु शब्दों का प्रयोग करते हुए कहा कि बिहार को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत केंद्र से 25,588 करोड़ रुपये की राशि जारी की गई लेकिन बिहार सरकार का रवैया इतना लचर है कि पैसा मिलने के बाद वो 6.8 लाख मकान भी नहीं बना पाई हैऔर अपनी नाकामी छुपाने के लिए महागठबंधन के मंत्री अब थेथरोलाजी पर उतर गये हैं।
PR - महागठबंधन के मंत्री नाकामी छिपाने के लिए थेथरोलाजी पर उतरे
— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) November 8, 2022
PR - प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बिहार को केंद्र से मिले 25,588 करोड़
PR - पैसे मिलने पर भी 6.8 लाख मकान नहीं बन पाए
इसके साथ ही सुशील मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना में केंद्रीय हिस्सेदारी की धनराशि की मांग कर रही बिहार सरकार का कोई भी प्रस्ताव केंद्र के पास लम्बित नहीं लेकिन उसके बाद भी वो पैसे मागने के लिए अनर्गल आरोप लगा रहे हैं। नीतीश सरकार को सलाह देते हुए सुशील मोदी ने कहा कि योजना के लिए प्राप्त राशि का 75 फीसदी हिस्सा खर्च करने के बाद जब राज्य सरकार केंद्र को उपयोगिता प्रमाण पत्र दे देगी तो उसे बाकी राशि भी तत्काल जारी कर दी जाएगी।
मालूम हो कि बीते सोमवार को भी सुशील मोदी ने महागठंबधन में साझेदार राजद को ईडब्लूएस आरक्षण के पक्ष में सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिये आदेश पर घेरते हुए कहा था कि जब नरेंद्र मोदी सरकार ने 2019 में संविधान का 103वां संशोधन संसद में पेश किया था तो ईडब्लूएस कैटेगरी में सामान्य गरीब को मिलने वाले 10 फीसदी आरक्षण का सबसे ज्यादा विरोध राजद ने ही किया था। ऐसे में सवाल उठता है कि अब जब सुप्रीम कोर्ट ने भी मोदी सरकार के फैसले पर मुहर लगा दी है तो बिहार में राजद कौन सा मुंह लेकर गरीब सवर्णों से वोट मांगने के लिए जाएगी।