रांची हिंसाः झारखंड हाईकोर्ट ने जांच में सुस्ती पर राज्य सरकार को लगाई फटकार, पूछा- 32 FIR में सिर्फ एक सीआईडी को सौंपा गया...

By भाषा | Published: August 19, 2022 07:19 AM2022-08-19T07:19:36+5:302022-08-19T07:23:19+5:30

अदालत ने इस मामले में सीआईडी की केस डायरी तलब करने के साथ ही रांची के तत्कालीन वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक और डेली मार्केट थाना प्रभारी के स्थानांतरण से संबंधित फाइल अदालत में पेश करने का निर्देश दिया।

ranchi violence case jharkhand high court expressed displeasure over the pace of investigation | रांची हिंसाः झारखंड हाईकोर्ट ने जांच में सुस्ती पर राज्य सरकार को लगाई फटकार, पूछा- 32 FIR में सिर्फ एक सीआईडी को सौंपा गया...

रांची हिंसाः झारखंड हाईकोर्ट ने जांच में सुस्ती पर राज्य सरकार को लगाई फटकार, पूछा- 32 FIR में सिर्फ एक सीआईडी को सौंपा गया...

Highlightsअदालत ने पूछा प्राथमिकियों में जांच की क्या स्थिति है।अदालत ने जांच के बीच अधिकारियों के तबादले पर भी नाराजगी जाहिर की।पुलिस महानिदेशक को जांच की स्थिति और अधिकारियों के तबादले को लेकर हलफनामा दायर करने को कहा।

रांचीः रांची में 10 जून को हुई हिंसा मामले की जांच की गति पर नाखुशी जताते हुए झारखंड उच्च न्यायालय ने कहा कि राज्य सरकार मामले में गंभीरता नहीं दिखा रही है। भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नुपुर शर्मा की पैगंबर मोहम्मद पर की गई विवादित टिप्पणी को लेकर रांची में 10 जून को हुए हिंसक विरोध-प्रदर्शन में दो लोगों की मौत हो गई थी और कई अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए थे।

झारखंड उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति डॉ रवि रंजन व न्यायमूर्ति सुजीत नारायण प्रसाद की खंड पीठ ने रांची हिंसा की जांच की मांग वाली जनहित याचिका पर गुरुवार को सुनवाई करते हुए इस घटना के संबंध में दर्ज सभी 32 प्राथमिकियों में से सिर्फ एक ही प्राथमिकी सीआईडी को सौंपे जाने पर सवाल खड़ा किया और पूछा कि अन्य प्राथमिकियों में जांच की क्या स्थिति है। अदालत ने यह भी पूछा कि इतने गंभीर मामले में जांच के बीच में रांची के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एवं संबद्ध डेली मार्केट थाने के थानेदार को आखिर क्यों स्थानांतरित किया गया?

अदालत ने इस मामले में सीआईडी की केस डायरी तलब करने के साथ ही रांची के तत्कालीन वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक और डेली मार्केट थाना प्रभारी के स्थानांतरण से संबंधित फाइल अदालत में पेश करने का निर्देश दिया। अदालत ने पुलिस महानिदेशक को स्पष्टीकरण देने और मामले में जांच की वर्तमान स्थिति की रिपोर्ट देने के लिए एक हलफनामा दायर करने का आदेश दिया। पीठ ने टिप्पणी की कि इस मामले की जांच सही दिशा में नहीं की जा रही है और सिर्फ एक मामले को ही सीआईडी को क्यों सौंपा गया।

राज्य सरकार की ओर से पेश अपर महाधिवक्ता आशुतोष आनंद ने अदालत को बताया कि चूंकि इस घटना में पुलिस की गोलीबारी में दो लोगों की मौत हुई थी, इसलिए मामला सीआईडी को सौंप दिया गया। इस पर अदालत ने वर्ष 2010 के बाद ऐसे सभी मामलों की सूची पेश करने को कहा, जिनमें पुलिस की गोली से लोग घायल हुए हैं और उसकी जांच सीआईडी को सौंपी गई है। जनहित याचिका में पंकज कुमार यादव ने उच्च न्यायालय से 10 जून की हिंसा को पूरी तरह सुनियोजित साजिश बताया है और इसकी उचित ढंग से निष्पक्ष जांच कराने का अनुरोध किया है।

Web Title: ranchi violence case jharkhand high court expressed displeasure over the pace of investigation

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